________________ POSERECTERISTICES . पुण्याय चरित्रं 6 साल्वच भाषांतर // 15 // दृष्टि तमारा प्रते जाणे आनंदरूपी दधयी धोयेली होय नही ! ( एम देखाय . ) // 13 // तन्ननमयमानिन्ये त्वद्भाग्यैरेव वारणः। ममैतदनुगामित्वान्मद्भाग्यैरसि दर्शितः॥३४॥ ___ अन्वयः-तत् नूनं त्वद्भाग्यैः एव अयं वारणः आनिन्ये, एतद्अनुगामित्वात् मद्भाग्यैः मम दर्शितः असि. // 34 // अर्थः-माटे खरेखर आपना सद्भाग्योज आ हाथीने ( अहीं) लाव्या छे, अने तेनी पाछळ पाछळ चालवाथी मारांसद्भाग्योए मने आपनु दर्शन कराव्यु छे. // 34 // ततः स्वसकृतक्रीतं गृहाणैनमिभं विभो / अहं कृतार्थ एवाद्य भवद्भालनिभालनात // 35 // . अन्वयः-ततः ( हे ) विभो ! स्वसुकृतक्रीतं एनं इभं गृहाण ? भवद्भालनिभालनात् अद्य अहं कृतार्थः एव. // 35 // अर्थ:-माटे हे स्वामी! आपना पुण्ये खरीदेला एवाआ हाथीने आप.स्वीकारो? आपना ललाटना दर्शनथी आजे हुं कृतार्थजथयोछु / 35 // एतद्वचःसुधाधारा-पूर्णकणेंद्रियद्वयः / प्रीतो महीन्दुमन्त्रीन्द्रमुखसंमुखदृग्जगौ // 36 // 000000000 QO@GOOOOOXXXXerox Jun Gun Aaradhik Trust PPAC Gunratnasuri MS robaigana-Shirst