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*स्ट्रोलाजिकल मैगजोन' *सन् १६४६ के जुलाई और अगस्त के अंकों में 'जे मेकडो नल्ड द्वारा लिखित 'क्या पृथ्वी चपटी है ?" शीर्षक लेख दो विभामों में प्रकाशित है।
वहाँ 'भूगोल है। इस सिद्धान्त का सभी वैज्ञानिक प्रमाणों से खण्डन किया गया है।
तथा पृथ्वी के चर होने की बात को भी तार्किक रूप से मिथ्या सिद्ध किया है "सूर्य गति करता है" यह सिद्धान्त उपस्थित किया गया है। पृथ्वी अपनी धुरी पर घूमती है और वह भी एक घण्टे में १००० मील. की गति. (Speed) से इस चीज को प्रश्रद्धेय बनाई है. ।
भारत और भारत से बाहर इस सम्बन्ध में बहुत. अनुसन्धान चल रहे हैं।
पी० एल० जाँग्रेफी (P. L. Geography) प्रादि ग्रन्थ
*The concentric and progressive motion of the Sun over the Earth is in every sense practically demonstrable. The earth like all over plenets floats iu space. The Sun moves and is the centre of our (Known) nniverse. The idea that the earth moves op. its axis at the rate of 1000
nilis an hour is ridiculoms. -ऐस्ट्रोलोजिकल मंगजीन Shree Sudharmaswami Gyanbhandar-Umara, Surat www.umaragyanbhandar.com