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कालिदास पर्याय कोश
पति रवनिपतीनां तैश्चकाशे चतुर्भिः। 10/86
राजाओं के स्वामी दशरथ भी अपने चार पुत्रों से सुशोभित हुए। 3. भर्ता-[भृ+तृच्] पति, प्रभु, स्वामी।
भर्तापि तावत्क्रथकैशिकानामनुष्ठितानन्तरजा विवाहः। 7/32 छोटी बहिन का विवाह करके विदर्भराज ने भी सामर्थ्य के अनुसार धन देकर। स्वभर्तृनाम ग्रहणाद् बभूव सान्द्रे रजस्यात्मपरावबोधः। 7/41 अपना पराया तब समझते थे, जब दोनों ओर के सैनिक अपने-अपने राजाओं का नाम ले-लेकर। इतस्ततश्च वैदेही मन्वेष्टं भर्तृचोदिताः। 11/59 विरही राम का मन सीताजी की खोज में इधर-उधर भटकता था।
नितम्ब
1. कट :-[कट+इन, कटि+ङीप् वा] कमर, नितंब।
मार्गेषिणी सा कटकान्तरेषु वैन्थ्येषु सेना बहुधा विभिन्ना। 16/31 मार्ग भूल जाने के कारण वह सेना विंध्याचल के आस-पास मार्ग ढूँढ़ने लगे।
और कई भागों में बँट गई। 2. नितम्ब :-[निभृतं तम्यते कामुकैः, तमु कांक्षायाम्] चूतड़, श्रोणिप्रदेश, कूल्हा।
नितम्बमिव मेदिन्या स्रस्तांशु कमलंघयत्। 4/52 मानो वह पृथ्वी का नितम्ब हो और जिस पर से कपड़ा हट गया हो। प्रियानितम्बोचितसंनिवेशैर्विपाटयामास युवा नखाग्रैः। 6/17 एक दूसरा राजा था, जिसके नख मानो प्रिया के नितम्बों पर चिह्न बनाने के लिए ही बने थे। उदद्दण्डपमं गृह दीर्घिकाणां नारीनितम्बद्वयसं बभूव। 16/46 उनमें कमल की डंडियाँ दिखाई देने लगी और पानी घटकर स्त्रियों की कमर तक रह गया। संदष्टवस्त्रेष्वबला नितम्बेष्विन्दुप्रकाशान्तरितोडुतुल्याः। 16/65 इन रानियों ने अपने नितम्बों पर श्वेत वस्त्र लपेट लिया है, जिसके नीचे तगड़ी के धुंघरू चाँदनी से ढके हुए तीर के समान दिखते हैं।
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