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रसा रम्ज स्त्री० [अ.] जुओ 'रमूज' रवा-रवी स्त्री० जलदी; उतावळ रम्माल पुं० [अ.] रमली; (रमल - रवि पुं० [सं.] सूर्य (२) अग्नि (३) पासाथी) जोष जोनार
आकडो रम्य वि० [सं.] मनोहर; रमणीय रविश स्त्री० [फा.] गति; चाल (२) रम्हाना अ०क्रि० जुओ 'रँभाना' - ढंग; रीत; रवेश (३) क्यारीओमां रयन,-नि स्त्री० (प.) रयणी; रात वच्चे थई जती केडी के नानो रस्तो रया स्त्री० [अ.] दंभ; देखाडो (२) दगो रवैया पुं० [फा.] रवैयो; परिपाटी रयासत स्त्री० जुओ 'रियासत' रशीद वि० [अ.] बोध पामेलु (२) रय्यत स्त्री० जुओ ‘रअय्यत'; रैयत
सभ्य ने शिक्षित, संस्कारी रंकार पुं० रकार; 'र' ध्वनि रश्क पुं० [फा.] ईर्षा; दाझ रर्रा वि० राड पाडे एकुं; झघडाळु (२) । रश्मि पुं० [सं.] किरण (२) दोरी; भारे मांगण
लगाम (३) पापण; 'बरौनी' रली स्त्री० मजा; आनंद; खेल रस पुं० [सं.] स्वाद (२) मजा; आनंद रव पुं० [सं.] अवाज; गुंजारव (३) सार; निचोड (४) धातुनी रवकना अ०क्रि० झपाटवू; दोड, (२)
भस्मनी दवा उमंगमां आववं
रसकोरा, रसगुल्ला पुं० एक मीठाई रवन्ना पं० रवानगीनो भरतिया जेवो रसद वि० [सं.] रसप्रद (२) स्वादिष्ट कागळ (२) नाकेथी जवा देवानो (३) स्त्री० [फा.] भाग; वहेंचणी (४) परवानो - नाकानी रसीद
सीधुंसामान (५) [अ.] वेधशाळा । रवां वि. अ.] वहेतं (२) जारी; चाल रसदार वि० रसवाळू (२) स्वादिष्ट; (३) प्रचलित
मजेदार रवा पुं० दाणो; कण (२) रवो (३) वि०
रसना अ०क्रि० चूq के झमवू या धीरे [फा.] उचित; वाजबी
धीरे झर, (२) रसमग्न के तन्मय रवाज स्त्री० [फा. रिवाज; चाल; रीत.
थर्बु (३) स्त्री० [सं.] जीभ -देना = रिवाज पाडवो; जारी कर.
रसनेंद्रिय स्त्री० [सं.] रसना; जीभ -पकड़ना = रिवाज थवो; जारी के
रसपति, रसराज (-य) पुं० [सं.] चंद्रमा चालु थर्बु
कणकीदार
(२) शृंगार रस (३) पारो (४) रवादार वि० संबंध राखनाएं (२)
वसंत ऋतु विलायती फळ रवानगी स्त्री० [फा.] रवाना थर्बु ते;
रसब (-भ)री स्त्री० [इं. रासबेरी] एक प्रयाण
रसम स्त्री० जुओ 'रस्म' रवाना वि० [फा.] मोकलेलं के गयेलं रसमसा वि० तरबोळ (२) रसमय रवाब,-बिया पुं० जुओ 'रबाब,-बिया' रसराज,-य पुं० जुओ 'रसपति' । रवायत स्त्री० [अ.] कहेवत (२) पुराणी रसा वि० [फा.] 'पहोंचाडनार' ए कथा
अर्थमां शब्दने अंते.दा० त० 'चिट्ठीरसाँ' हिं-२९
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