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भारतीय शिल्पसंहिता
TRISHUL CHHURIKA
छूरिका
KHADGA
खडग
DHAL ढाल
MUND मूंड
RISHTIKA रिष्टीका
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दर्पण
KHATVANG DHANUSHYA BAN PASH ANKUSH GHANTA DARPAN खट्वांग
धनुष्य
बाण पाश अंकुश घंटा यहाँ ग्रंथकार ने प्रायुधों के स्वरूप और मानप्रमाण के २४ श्लोक दिये हैं। इन ३६ मायुधों के उपरांत १६ आयुध मूर्तिशास्त्र के प्राचीन ग्रंथों में प्रतिमानों के स्वरूप वर्णन में दिये गये हैं।
तामस प्रायुध के चार प्रकार है : १. पटिटश २. टंक ३. अग्नि ४. प्राणीजीव (मृग, कुक्कुट, नकुल-सियाल, सर्प)
साधन उपकरण के सात प्रकार हैं: १. अाम्रलंबी २. ध्वजा ३. कंबा (गज) ४. सूत्र-दोरी ५. मोदक ६. फल-मातुलिंग ७. लेखिनी
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