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| हे भगवन् ! ते ए प्रमाणे छे, हे भगवन् ! ते ए प्रमाणे हे. एम कहीने भगवंत गौतम रिहरे के ॥ ७६ ।। व्याख्या
१ शतके तेणं कालेणं तेणं समएणं पासावधिले कालासवेसियपुत्ते णामं अणगारे जेणेव थेरा भगवंतो सेणेव उवाप्रचप्तिः
उद्देशः ५ गच्छति २त्ता थेरे भगवंते एवं वयासी-थेरा सामाइयं ण जाणंति थेरा सामाइयस्स अट्ठ ण याणंति थेरा ॥१०८॥ | पञ्चक्खाणं ण याणंति थेरा पञ्चक्रवाणस्स अहं ण याणंति धेरा संजमं ण याणंति थेरा संजमस्स अटुंण या-
11१०८॥ गंति थेरा संवरं ण याणंति घेरा संवरस्स अटुंण याणंति थेरा विवेगण याणंति थेरा विवेगस्स अहं ण याणं& ति थेरा विउस्सग्गं ण याणंति थेरा विउस्सग्गस्म अटुंण याणंति ६ ताणं ते घेरा भगवंतो कालासर्वसि
यपुत्तं अणगारं एवं बयासी-जाणामोणं अजो सामाइयं जाणामो णं अजो! सामाइयस्स अटुं जाव जाणामो| घाणं अजो! विउस्सगस्स अटुं । तए णं से कालासवेसियपुत्ते अणगारे धेरे भगवंते एवं बयासी-जति णं अ
जो! तुम्भे जाणह सामाइयं जाणह सामाइयस्स अटुं जाव जाणह विउस्सग्गस्स अटुं किं भे अजो! सामाइए? किं भे अजो सामाइयस्स अट्टे ? जाव किं भे विउस्सगस्स अहे?, ताणते थेरा भगवंतो कालासवेसियपुत्तं अणगारं एवं वयासी-आया णे अजो! सामाइए आया णे अजो! सामाइयस्स अट्टे जाव विउस्सग्गस्स अट्टे । तए णं से कालाससियपुत्ते अणगारे थेरे भगवंते एवं वयासी-जति भे अजो! आया सामाइए आया सामाइयस्स अट्ट एवं जाव आया विउस्सगस्स अट्टे अवहट्ट कोहमाणमायालोभे किमढे अजो: गरहह ?, कालास. संजमट्ठयाए, से भंते ! किंगरहा संजमे अगरहा संजमे ?, कालास! गरहा संजमे नो अगरहा संजमे, गरहावि
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