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________________ पृथ्वीचं अने गुणसागर, चरित्र. ३न्य कल्याण माटें लेवा जे जे, तेमां कदाचित् अज्ञानने लीधे मनुष्यथी कोक अलिकवादीनो उपदेश लेवाइ जाय, तो तेनो मोक्ष थावो तो दूर रह्यो, परंतु ते बिचारानो उलटो नरकपात थाय ? एम विचार करी ते सुमंगल राजा, पोताना मतिसुंदरनामा प्रधानने पूछे छे, के हे मंत्रिन ! महारी मोद कारक एवा धर्मना आराधननी इबा थडे, परंतु या जगतमां पाखंम धर्म घणा के अने हुँ ते बाबतमां अविज्ञात लुं, तेथी धर्मोपदेशने बदले को एक पाखंमीथी कदाचित मने अनीक शास्त्रनो नपदेश थ जाय, तो मारे धर्माचरण करवाने बदले अधर्माचरण थ जाय, तो पड़ी मोक्षप्राप्ति तो दूर रही परंतु तेने बदले मारो नरकपात थ जाय, तो पनी हुँ गुं करूं? ावां सुमंगलराजानां धर्मास्तिकपणानां वचन सांजली ते मंत्री बोल्यो के, हे प्रनो! आपने जे धर्माराधन कर, ते विषे मारो मत तो एवो डे, के आ सदु कोई धर्मवालानोधर्मोपदेश सांनलवो, तेमां वली जे धर्मोपदेशमां संसारव्य वहार अने विषयनोग, तेनी वात न आवे, ते धर्मोपदेशने उत्तम जाणी तेनो अंगीकार करवो.अने आराधन पण ते उदेपशमां कहेला धर्मनुंज करवू, तेथी जे या धारेलुं फल , ते मलरो? अने वली जे धर्मोपदेशमा संसार व्यव हार तथा विषयनी वार्ता आवे, ते धर्मोपदेशनो त्याग करवो. कारण के ते उपदेशथीधर्माचरण करनारनो नरकपातज थाय .या प्रकारचें मंत्रीन वचन सांजली राजा अत्यंत नत्साह पाम्यो, अने वली मनमां दृढीकरण कयुं के जेम था मंत्री कहे , तेमज करवू. एम निश्चय करी जेवामां पोतानी सनामां जश् बेठो, तेवामां तो आकाशमां महोटो देवोनो करेलो उंछनिनो शब्द थवा लाग्यो, तथा जयजय शब्द पण थवा लाग्यो. ते सां नती गामनां सर्व लोक, तथा राजा अत्यंत विस्मय पामी आम तेम जोवा लाग्यां. त्यां तो अचानक वनपालकें यावी हाथ जोडी विनति करी के, महाराज ! आपणा नगरनी बाहारना उद्यानने विषे मूर्तिमान जाणे धर्मज होय नहिं ? एवा श्री स्वयंवरनामा मुनि पधारेला बे. वली तेमने आज प्रातःकालमां केवलझान उत्पन्न थयु , तेथी तेमना चरणारविंदमां स्नेहें करी, कमलमा जेम चमरा लीन थाय, तेम देवता लीन थ जाय . माटे हे स्वामिन् ! ते नगवान, जे वंदन करवू, तथा तेउन। पासेंथी जे तत्त्वज्ञान ले, ते आपने उचित .आवां वचन सांजली सुमं
SR No.010252
Book TitleJain Katha Ratna Kosh Part 07
Original Sutra AuthorN/A
AuthorBhimsinh Manek Shravak Mumbai
PublisherShravak Bhimsinh Manek
Publication Year1892
Total Pages517
LanguageHindi
ClassificationDictionary
File Size66 MB
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