________________ (284 ) प्रश्न २२-वचनगुप्ति पर प्रश्नोत्तर 1 से 18 तक के अनुसार बनाकर लिखो और स्पष्ट समझाओ ? प्रश्न २३-उत्तम क्षमा पर प्रश्नोत्तर 1 से 18 तक के अनुसार बनाकर लिखो और स्पष्ट समझाओ? प्रश्न २४-क्षुधापरिषहजय पर प्रश्नोत्तर 1 से 18 तक के अनुसार बनाकर लिखो और स्पष्ट समझाओ? प्रश्न २५-अहिंसाणुव्रत पर प्रश्नोत्तर 1 से 18 तक के अनुसार बनाकर लिखो और स्पष्ट समझाओ? प्रश्न २६-तीन प्रकार के निश्चय-व्यवहार सम्यग्दर्शन पर लगाकर बताओ? उत्तर-(१) जहाँ श्रद्धा व चारित्र गुणरूप अभेद त्रिकाली आत्मा को यथार्थ का नाम निश्चय सम्यग्दर्शन कहा हो, वहाँ उसकी अपेक्षा श्रद्धा गुण की शुद्ध पर्याय सम्यग्दर्शन व स्वरूपाचरण चारित्र की प्राप्ति को उपचार का नाम व्यवहार सम्यग्दर्शन कहा जाता है। (2) जहाँ घडागुण की शुद्ध पर्याय सम्यग्दर्शन व स्वरूपाचरण चारित्र की प्राप्ति को यथार्थ का नाम निश्चय सम्यग्दर्शन कहा हो, उसकी अपेक्षा वहाँ सच्चे देव-गुरु-शास्त्र का राग व सात तत्त्वो की भेदरूप श्रद्धा बध का कारण होने पर भी सम्यग्दर्शन के आरोप को उपचार का नाम व्यवहार सम्यग्दर्शन कहा जाता है। (3) जहाँ सच्चे देव-गुरु-शास्त्र का राग व सात तत्वो की भेद रूप श्रद्धा को यथार्थ का नाम निश्चय सम्यग्दर्शन कहा हो, उसकी अपेक्षा वहाँ हाथ जोडने आदि शरीर की क्रिया को उपचार का नाम व्यवहार सम्यग्दर्शन कहा जाता है। प्रश्न २७-तीन प्रकार के निश्चय-व्यवहार को श्रावकपने पर लगाकर बताओ? उत्तर-(१) जहाँ श्रद्धा व चारित्र गुण रूप अभेद त्रिकाली आत्मा को यथार्थ का नाम निश्चय श्रावकपना कहा हो, वहाँ उसकी अपेक्षा दो चौकड़ी कषाय के अभाव रूप देशचारित्र को उपचार का