SearchBrowseAboutContactDonate
Page Preview
Page 192
Loading...
Download File
Download File
Page Text
________________ १२८ क्रिया - कोशं 'चलणा, कायजोगचलणा । से केणट्टणं भंते! एवं वुश्चइ-ओरालिय सरीरचलणा ओरालियसरीरचलणा ? गोयमा ! जं णं जीवा ओरालियसरीरे वट्टमाणा ओरालिय सरीरपाओम्गाई दव्वाई ओरालियसरीरत्ताए परिणामेमाणा ओरालियसरीरचलणं चलिंसु वा, चलति वा, चलित्संति वा से तेणट्टेणं जाव ओरालियसरीर चलणा २ । भंते! एवं वुश्च३ - वेडव्वियसरी चलणा वेडव्वियसरीरचलणा ? एवं वेव, नवरं - वेडव्वियसरीरे वट्टमाणा, एवं जाव कम्मगसरीरचलणा । सेकेट्टे भंते! एवं वुश्चइ – 'सोइ दियचलणा सोइ दियचलणा ? गोयमा ! जं णं जीवा सोइ दिये वट्टमाणा सोइंदियपाओग्गाई' दव्वाइ सोइ दियत्ताए परिणामेमाणा सोइ दियचलणा चलिंसु वा, चलति वा, चलिस्संति वा, से तेणटुणं जाव सोइ दियचलणा २ । एवं जाव फासिंदियचलणा । सेकेट्टे भंते! एवं वुञ्चइ-मणजोगचलणा मणजोगचलणा ? गोयमा ! जं णं जीवा मणजोए वट्टमाणा मणजोगपाओग्गाई दव्वाई मणजोगत्ताए परिणामेमाणा मणजोगचलणं चलिसु वा, चलति वा, चलित्संति वा से तेणणं जाव-मणजोगचलणा २ एवं वइजोगचलणा वि, एवं कायजोगचलणा वि । - भग० श १७ । ३ । प्र ८ से १५ । पृ० ७५७-७५८ टीका – 'कई' त्यादि, 'चलण' त्ति एजना एव स्फुटतरस्वभावा 'सरीरचलण' त्ति शरीरस्य -- औदारिका देश्चलना - तत्प्रायोग्यपुद्गलानां तद्रूपतया परिणमने व्यापारः शरीरचलना, एवमिन्द्रिययोगचलने अपि, 'ओरालिय सरीरचलणं चलिस' त्ति औदारिकशरीरचलनां कृतवन्तः । चलना-क्रिया एजना से स्फुटतर स्वभाव वाली होती है अर्थात् चलना का परिस्पंदन एजना के परिस्पंदन से स्पष्टतर- स्थूलतर होता है । चलना तीन प्रकार की होती है, यथा - १ शरीरचलना, २ इन्द्रियचलना तथा ३ योगचलना । शरीर चलना पाँच प्रकार की होती है, यथा-१ औदारिकशरीरचलना, २ वैक्रियशरीरचलना, ३ आहारिकशरीरचलना, ४ तैजसशरीरचलना तथा ५ कार्मणशरीरचलना । औदारिक शरीर चलना अर्थात् औदारिक शरीर में वर्तमान जीव औदारिक शरीर के योग्य प्रायोगिक द्रव्यों को औदारिक शरीर रूप में परिणमन करता हुआ चलना करता था, करता है, करेगा | इसी प्रकार वैक्रियशरीर में वर्तमान जीव वैकिय शरीर के योग्य प्रायोगिक द्रव्यों को वैक्रिय शरीर रूप में परिणमन करता हुआ चलना करता था, करता है, "Aho Shrutgyanam"
SR No.009528
Book TitleKriya kosha
Original Sutra AuthorN/A
AuthorMohanlal Banthia
PublisherJain Darshan Prakashan
Publication Year1969
Total Pages428
LanguageSanskrit
ClassificationDictionary & Dictionary
File Size9 MB
Copyright © Jain Education International. All rights reserved. | Privacy Policy