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युद्ध हुआ है अंग्रेजों के खिलाफ जिसको ओपियम ट्रेड वार कहा जाता है चीन के इतिहास में। वो इसलिए हुआ कि भारत में अफीम पैदा होती थी मालवा में। अंग्रेजों की सरकार वो अफीम पैदा करती थी। चीन के लोगों को उससे बर्बाद किया जाता था। ___ इस तरह के कानून अंग्रेजों की सरकार ने बनाये थे भारत को बर्बाद करने के लिए भारत के किसानों को बर्बाद करने के लिए और इस तरह की व्यवस्थायें बनाकर अंग्रेजों ने भारत के किसानों को पूरी तरह से बांध दिया था। तो जो किसान सबसे ज्यादा उन्नत खेती करता था। जो किसान सबसे ज्यादा उन्नत खेती करने वाला माना जाता था। जिस देश की खेती सबसे ज्यादा उन्नत मानी जाती थी वो किसान बर्बाद हुआ। वो खेती बर्बाद हुई और वो धीरे-धीरे गरीबी में आ गया किसान, फिर दारिद्र में आया, फिर कंगाली में आया। फिर इस देश में भुखमरी हुई और अकाल पड़ गया और जब अकाल पड़ते थे तो हिन्दुस्तान के लाखों-लाखों लोग भुख से मर जाते थे। अंग्रेजों की सरकार के लिए वो बहुत सुविधा की बात मानी जाती थी। अंग्रेजों की सरकार को लगता था कि जितने लोग इस देश में मरते जाए भूख से उतना ही अंग्रेजों की सरकार को, लोगों को कन्ट्रोल करने में, लोगों को गुलाम बनाकर रखने में सुविधा होती थी। तो अकाल जब पडते थे। महामारियां जब होती थीं। भूख से जब लोग मरते थे। अंग्रेजों की सरकार उसके लिए कोई कदम नहीं उठाती थी। इस देश के लिए सबसे बड़ा दुभार्ग्य रहा है कि एक देश जो 300 साल पहले तक सबसे ज्यादा अन्न पैदा करता रहा। अनाज पैदा करता रहा उसी देश में अंग्रेजों को जमाने में दस-दस अकाल पडे। बड़े-बड़े अकाल पड़े, लाखों-लाखों करोड़ों-करोड़ों लोग उन अकाल में मारे गए।
। बाद में अंग्रेजों की सरकार ने एक कानून और बनाया। जब यहाँ अकाल पडना शुरु हो गया। तो अनाज के उत्पादन में और ज्यादा कमी आ गयी तो अंग्रेजों की सरकार जो लगान वसुलती थी वो लगान में भी कमी आने लगी। क्योंकि अनाज का उत्पादन कम हुआ तो लगान मिलना कम हो गया तो अंग्रेजों की सरकार ने फिर और ज्यादा अत्याचार करना किसानों के ऊपर शुरु कर दिया और एक बार तो अंग्रेजों की सरकार ने इस कदर अत्याचार किया भारत के किसानों पर आपको याद होगा 1939 में दुसरा विश्व युद्ध जब शुरु हुआ और इस दूसरे विश्व युद्ध में जब अंग्रेजों की सरकार फंसी युद्ध करने के लिए तो अंग्रेजों की सेना दूसरा विश्व युद्ध लढ़ रही थी। लेकिन अंग्रेजों की सेना जो युद्ध लढ़ रही थी अपने स्वार्थ की पूर्ती के लिए। उस अंग्रेजी सेना के लिए भोजन भारत से भेजा जाता था। अनाज
स्वदेशी कृषि
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