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________________ बारहव्रत आरोपण विधि का सैद्धान्तिक अनुचिन्तन ...167 5. उपभोग-परिभोगातिरेक- उपभोग (धान्य आदि वस्तुएँ) और परिभोग (मकान, वस्त्र आदि) सम्बन्धी साधनों का आवश्यकता से अधिक संचय करके रखना। ___ अनर्थदण्डविरमण व्रत की उपादेयता- इस गुणव्रत से प्रधानतया अहिंसा और अपरिग्रह का पोषण होता है तथा निष्प्रयोजन किए जाने वाले पापकर्मों का संवरण होता है। निरर्थक प्रवृत्तियों का निषेध होने से अर्थव्यय, कलहयुक्त एवं संघर्षमयी स्थितियों से रक्षण होता है। परिणामस्वरूप अविवेकपूर्ण एवं अनुशासनहीन वृत्तियों का निरोध होता है। इससे निरर्थक-हिंसा एवं निरर्थक-संग्रह का भी अवरोध होता है। चार शिक्षाव्रत - शिक्षा का सामान्य अर्थ है अभ्यास करना। जिस प्रकार विद्यार्थी बार-बार अभ्यास करता है, उसी प्रकार गृहस्थव्रती द्वारा जिन व्रतों का बहुत बार अभ्यास किया जाता है, वे शिक्षाव्रत कहलाते हैं। अणुव्रत और गुणव्रत जीवन में दीर्घ समय के लिए ग्रहण किए जाते हैं,82 किन्तु शिक्षाव्रत बार-बार ग्रहण किए जाते हैं और कुछ निर्धारित समय के लिए ही होते हैं। शिक्षाव्रत के नाम ये हैं- 1. सामायिक 2. देशावगासिक 3. पौषधोपवास और 4. अतिथिसंविभाग। 9. सामायिक व्रत सामायिक पहला शिक्षाव्रत है। आचार्य हरिभद्र ने सामायिक शब्द का निरूक्तिपरक अर्थ स्पष्ट करते हुए कहा है कि जो राग-द्वेष से रहित होकर समस्त प्राणियों को अपने समान ही देखता है, उसका नाम 'सम' है और इसी का पृष्ठीय भाग 'आय' शब्द का अर्थ 'प्राप्ति' है, तदनुसार सम जीव, जो प्रतिसमय अनुपम सुख की कारणभूत अपूर्व ज्ञान, दर्शन और चारित्ररूप पर्यायों से संयुक्त होता है, उसे 'समाय' कहते हैं। समाय सम्बन्धी भाव या क्रिया को सामायिक कहते हैं।83 कहा भी गया है- 'समाय भवम् सामायिकम्'-इस विग्रह के अनुसार समाय होने पर जो अवस्था होती है, वह सामायिक है। सामायिक में समभाव की साधना होती है। आसन, मुखवस्त्रिका, चरवला, आदि बाह्यउपकरणों द्वारा विधिपूर्वक सामायिक ग्रहण करना द्रव्य-सामायिक है और कषाय- विषयादिरूप अध्यवसायों से दूर हटना एवं आत्मस्थ बनना भाव सामायिक है।
SR No.006240
Book TitleJain Gruhastha Ke Vrataropan Sambandhi Vidhi Vidhano ka Prasangik Anushilan
Original Sutra AuthorN/A
AuthorSaumyagunashreeji
PublisherPrachya Vidyapith
Publication Year2014
Total Pages540
LanguageHindi
ClassificationBook_Devnagari, C000, & C999
File Size37 MB
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