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शब्द-कोपः
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चिरम् (अ०)समा सुधा. चेत् ( अ०) . चेतस् (न०)भन. चोर (पुं० ) यो२. च्यु (१, आ० गतौ) 43.
गम (पुं०)-समान पार, मासा५४. गम्य (वि.)-भेगवी शय तवो. गरुड (पुं० )-३३. गर्भ (पुं० )-मध्य माग. गल् (१, प० भक्षणे स्रावे च )=43. गान्धारी (स्त्री)-धारी (विद्या-हेवी). गिर् (स्त्री०)पाएगी. गिरि (पुं०)-पर्वत. गीर्वाणता (स्त्री०)-१५j. गुण (पुं० )-गुप. गुपिल (वि.)-गन. गुरु (वि.)-मोटुं. गृह (न.)-५२. गो (स्त्री.)-वाशी. गोधा (स्त्री.) मे नतनो २॥५, घो. गौर ( वि० )-धोj. गौरी (स्त्री.) गौरी (विद्या-वी). ग्राम (पुं०)-गामा
छद (पुं०)पत्र, प . छवि (स्त्री.)-शोला. छिद् ( ७, ऊ. द्वैधीकरणे )[५j. छुरित ( वि० )-०यास.
घण्टा (स्त्री० )=qट. घन (पुं० ) भेष. घन (वि.)गाद. घनाशनी (स्त्री०)-५. धर्म (पुं०)-ता५. घस्सर (वि.)-सक्षशास. घातक (वि.)-हुराना२.
जगत् (स्त्री० )-दुनिया. जन् (४, आ० प्रादुर्भावे )-34 थj. जन (पुं०)=ी. जनता ( स्त्री० ) यो. जननी ( स्त्री० )=भात. जन्म (न०) म. जन्मन् (न०) म. जन्तु (पुं०)=04. जय (पुं० )-201. जय्य (वि.)%D9ती शकय सेवो. जल (न०)-पाशी. जलद (पुं० )-भेध. जलधि (पुं०)समुद्र जात (न०)-समूड. जाति (स्त्री०) म. जाल (न०)समूह जि ( १, ५० जये) त. जिन (पुं० )-(१) तीर्थ:२; (२) सामान्य सी. जीव (पुं० )-04, Hil. जुष् ( ६, आ० प्रीतिसेवनयोः )सेव. जेय (वि.)30तवा साय. जैन (वि.)-भिन-संमंधा. ज्यायस् (वि.)-धारे मोटु. ज्वल ( १, ५० दीप्तौ )=मण. ज्वलन (न.) मि. शानिता (स्त्री.)-शानिप.
घ (अ)सने. चन्द्र (पुं०)-यन्द्र चन्द्रप्रभ (पु.)नोना मामा तीर्थ७२. चमू ( स्त्री०)=२४२, शेग. चर (वि.)-डातुं यावतुं. चरण (न०)=4l. चामर (पुं०, न.)-याभ२. चारु (वि.)मनोहर. चि (५, ऊ० चयने)- २q. चिति (स्त्री.)-समुदाय. चित्त (न.)-मन. चिर (वि.)दा अगर्नु.
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