________________ . प्राकृतशब्दरूपावलिः ___ इत्यादि // उमो निषण्णे // 8 / 1 / 174 // इत्यनेनादेः स्वरस्य परेण सस्वरव्यञ्जनेन सह उम आदेशो वा भवति / ॥अथ युधिष्ठिरशब्दः // . एकवचनम् बहुवचनम् . प्रथमा जहुट्ठिलो जहिट्ठिलो जहुट्ठिला जहिट्ठिला इत्यादि // युधिष्ठिरे वा // 8 / 1 / 96 // इत्यनेनादेरित उत्वं वा / पक्षे // तो मुकुलादिष्वत् // 8 / 1 / 107 // इत्यनेनादेरुतोऽकारः // हरिद्रादौ लः // 8 / 1 / 254 // इत्यनेन लकारः। ॥अथ निर्झरशब्दः॥ एकवचनम् . . बहुवचनम् प्रथमा ओज्झरो निज्झरो , ओझरा निज्झरा इत्यादि / वा निर्झरे ना // 8 / 1 / 98 // इत्यनेन निर्झरशब्दे नकारेण सह इत ओकारो वा भवति / निर्जरशब्दस्य तु निज्जरो, इत्येकमेव भवति / ॥अथ कश्मीरशब्दः // बहुवचनम् प्रथमा कम्भारा कम्हारा इत्यादि, देवंशब्दस्य बहुवचनवत् // कश्मीरे म्भो वा // 8 / 2 / 60 // इत्यनेन संयुक्तस्य म्भः / आत्कश्मीरे / / 8 / 1 / 100 // इत्यनेन ईत आकारः / पक्षे // पक्ष्म-श्म-ष्मेत्यादिना सूत्रेण श्मस्य म्हः / कश्मीरशब्दस्य देशवाचित्वात्, बहुवचनान्त एव दृश्यते / कम्भारो, कम्हारो इति तु प्रत्यन्तराल्लभ्यते / .