________________ 14 प्रबंधोना उल्लेखो परथो पण जणाय छे अने मने नथी लागतुं के तेमनी वात उपजावी काढेली होय / - परन्तु विक्रमादित्य अने तेनो समय पण एटलो ज अनिश्चित छे:१. विद्याभूषण एने मालवाना यशोधर्मदेव ठरावे छे (इ.स.५३०)। 2. श्री. कल्याणविजयजी एने बलमित्र माने छे। ..... 3. डॉ० क्राउझे एने समुद्रगुप्त माने छे (इ.स. 310 थो 375) / :4. पं. सुखलाल जी अने पं. बेचरदासजी एने चन्द्रगुप्त बीजो माने छे (इ. स. 380 थी 418) / 5. पाठक एने स्कन्दगुप्त माने छे (इ. स. 455-56) / 6. जयस्वाल एने शातकर्णी गौतमीपुत्र माने छ / 17. विंटरनित्झ अने बीजा केटलाक विद्वानों तो विक्रमादित्यने - कल्पित राजा गणे छ / प्रबन्धो अनुसार जेनो आ० सिद्धसेन साथे संबंध हतो ते विक्रमादित्ये विक्रमसंवत्नी स्थापना करेलो / आना माटे पुरावा पण मळे छ। 1. प्रस्तुत ग्रन्थनी 'गुणवचनद्वात्रिंशिका' एनो सौथी मोटो पुरावो छ / 2. 'प्रबन्धचिन्तामणि'मांनी प्रशस्ति मने 3. मा० जिनप्रमे नामेयमंदिरमा जोयेलो स / ...