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________________ 158 ज्ञाताधर्मकथांग का साहित्यिक एवं सांस्कृतिक अध्ययन वस्त्र उद्योग ___ जैनागमों में जीवन निर्वाह एवं अर्थ संग्रह हेतु शिल्पकार्य, वस्त्र निर्माण, चर्म उद्योग एवं अनेक उद्योगों का वर्णन मिलता है। ज्ञाताधर्म में सामान्य एवं स्वर्णमण्डित वस्त्रों के निर्माण, उन्हें रंगना, सिलाई करना, अद्भुत महीन वस्त्रों के निर्माण जो सिर्फ नि:श्वास में उड़ जाए का उल्लेख है।१ धातु उद्योग वस्त्र उद्योग की तरह ज्ञाता में धातु उद्योग का भी वर्णन प्राप्त होता है। 72. कलाओं में धातु की भी शिक्षा का प्रावधान था।२ धातु को पहले पिघलाकर उसके उपकरण बनाये जाते थे। ज्ञाता में लोहार की भट्टियों का उल्लेख प्राप्त होता है।३ यहीं पर अन्य धातुओं के रूप में तांबा, शीशा आदि के व्यापार का भी वर्णन है। रत्न उद्योग इस काल में स्वर्ण एवं रत्न उद्योग भी अपनी चरम सीमा पर था। ज्ञाताधर्म में उल्लेख है कि धारिणी देवी हार, करधनी, बाजू, कड़े एवं अंगूठियाँ पहनती : थीं।" मेघकुमार को दीक्षा के पूर्व अट्ठारह लड़ोंवाले हार, एकावली, मुक्तावली, रत्नावली, पाद प्रालम्ब, कड़ा, अंगूठियों, कंदोरा, कुण्डल आदि पहनाये गये थे।५ ज्ञाताधर्म के मल्ली नामक अध्ययन में मल्ली की स्वर्ण प्रतिमा बनाये जाने का प्रसंग प्राप्त होता है।६ ज्ञाताधर्म में 16 प्रकार के रत्नों का नामोल्लेख है। भाण्ड एवं काष्ठ उद्योग __प्राचीन काल में मिट्टी के बर्तनों का विशेष रूप से प्रयोग होता था। कमोरशाला अर्थात् कुम्भकारों की दुकानों का उल्लेख ज्ञाताधर्मकथा में प्राप्त होता है। लकड़ी से बनी नाव की मेढ़ी जो नाव का आधार होता था, का उल्लेख प्राप्त होता है। भवनों के द्वार, कंगूरे, खिड़कियाँ आदि लकड़ी द्वारा ही निर्मित होती थीं। अन्यान्य उद्योग ज्ञाताधर्मकथा में तिल, अलसी, सरसों, एरण्ड, चन्दन शतपाक एवं सहस्त्र 1. ज्ञाताधर्मकथांग, 1/44, 1/99, 8/103, 8/104. 2. वही, 1/98. 3. वही, 1/9/26. 4. वही, 1/44. 5. वही, 1/142. 6. वही, 8/35. 7. वही, 1/69. 8. वही, 12/16. Jain Education International For Personal & Private Use Only www.jainelibrary.org
SR No.004258
Book TitleGnatadharmkathang ka Sahityik evam Sanskrutik Adhyayan
Original Sutra AuthorN/A
AuthorRajkumari Kothari, Vijay Kumar
PublisherParshwanath Vidyapith
Publication Year2003
Total Pages160
LanguageHindi
ClassificationBook_Devnagari
File Size13 MB
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