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भगवती सूत्र-श.१ उ. १० परमाणु के विभाग और भाषा अभाषा
शतक १ उद्देशक १० परमाणु के विभाग और भाषा अभाषा ३०८-अण्णउत्थिया णं भंते ! एवं आइक्खंति, जाव-एवं परूवेंति-"एवं खलु चलमाणे अचलिए, जाव-निजरिजमाणे अणिजिण्णे।”
३०९-“दो परमाणुपोग्गला एगयओ न साहणंति । कम्हा दो परमाणुपोग्गला एगयओ न साहणंति ? दोण्हं परमाणुपोग्गलाणं नत्थि सिणेहकाए, तम्हा दो परमाणुपोग्गला एगयओ न साहणंति।" ____३१०-“तिण्णि परमाणुपोग्गला एगयओ साहणंति । कम्हा तिणि परमाणुगोग्गला एगयओ साहणंति ? तिण्हं परमाणुपोग्गलाणं अत्थि सिणेहकाए, तम्हा तिण्णि परमाणुपोग्गला एगयओ साहणंति । ते भिजमाणा दुहा वि, तिविहा वि कजंति । दुहा कजमाणा एगयओ दिवड्ढे परमाणुपोग्गले भवइ, 'एगयओ वि दिवड्ढे परामणुपोग्गले भवइ । तिहा कन्जमाणा तिण्णि परमाणुपोग्गला भवंति । एवं जाव-चत्तारि ।”
३११-"पंच परमाणुपोग्गला एगयओ साहणंति, साहणित्ता दुक्खत्ताए कति । दुक्खे वि य णं से सासए सया समियं उवचिजइ य, अवचिजह य ।"
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