________________
(घ) कियारूप
परिक्खेमि
जायन्ति
भक्खे मि
(ङ) कृदन्त
निमंति
पेसिया
पूरिया
रखिय
परिभाविय
३. वस्तुनिष्ठ प्रश्न :
४. लघुत्तरात्मक प्रश्न :
मूलक्रिया
अर्थ
निमन्त्रण कर
***********
पूरी कर ली
प्राकृत काव्य - मंजरी
***********.***
Jain Educationa International
विचार कर
काल
*******
********
कोष्ठक में लिखिए:
सही उत्तर का क्रमांक १. नयसार सेठ ने अपने पुत्रों को बुलाया था ( क ) ईनाम देने के लिए ( ख ) (ग) विदेश भेजने के लिए
(घ)
२. पहले पुत्र ने मूल पूँजी को (क) खा लिया
५. निबन्धात्मक प्रश्न एवं विशदीकरण :
पहिचान
सं०कु०
भू० कृ०
(ख)
(ग) बढ़ाकर १ करोड़ कर लिया (घ)
सं० कृ०
प्रश्नों के उत्तर एक-एक वाक्य में लिखिए: १. नयसार अपने पुत्रों की परीक्षा किस लिए तीसरे पुत्र ने अपने बूढ़े पिता के
२.
३. परिवार के प्रमुख का पद किस
पुरुष
मूलक्रिया प्रत्यय
निमंत
पूर
परीक्षा करने के लिए
सलाह करने के लिए
........
परिभाव
For Personal and Private Use Only
सुरक्षित रखा दान दे दिया
करना चाहता था ?
सम्बन्ध में क्या सोचा ? पुत्र को और क्यों मिला ?
( ख )
(क) इस पाठ का सार अपने शब्दों में लिखिए । कुशलपुत्र के विचार अपने शब्दों में लिखिए । (ग) गाथा नं० १० एव ११ का अर्थ समझाकर लिखिए ।
घचन
इ+उंौं
इ+य
इ +
[ ]
[ ]
८७
www.jainelibrary.org