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भगवई
२३१
श.९: उ.३२ : सू.९०
भाष्य
१. सूत्र ८८.९० तीन जीवों के एक सांयोगिक भंग-७ |रश वा पंधू त अधः
शर्कराप्रभा के भंग १० रश वा पंधू त अधः
३
पंकप्रभा के विकल्प २, भंग ६ र श वा पंधू त अधः
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तीन जीवों के द्वि सांयोगिक
विकल्प २, भंग-४२ रत्नप्रभा के विकल्प २, भंग १२
|श वा पं | धूत अधः
|
धूमप्रभा के विकल्प २, भंग ४ र श वा पंधू त अधः
वालुकाप्रभा के भंग ६ श वा पंधूत | अधः
२
१
-
२
३
तमप्रभा के विकल्प २, भंग २ रश वा पंधू त अधः १] ।
१ २
पंक-धूमप्रभा के भंग २ रश वा| पंधू त अधः
१२२
तीन जीवों के त्रि सांयोगिक भंग ३५
रत्नप्रभा के भंग १५ र श वा पंधू त अधः
शर्कराप्रभा के विकल्प २, भंग १० रश वा पंधू | त अधः
पंक-तमप्रभा का भंग १ र श वा पंधू त अधः
३११ | ४११
धूम-तमप्रभा का भंग १ श वा पंधूत अधः
|
ها را به همام اقوام
| श वा पंधू त अधः
श
इस प्रकार तीन जीवों के एक सांयोगिक भंग ७, द्वि-सांयोगिक भंग ४२, त्रिसांयोगिक भंग ३५, सर्व भंग-८४
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-
-
वालुकाप्रभा के विकल्प २, भंग ८ रश वा| पंधू त अधः
१२
|१०१ |१११ |१२१
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