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भगवई
१७
विषयानुक्रम
सूत्र
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१५४-१५९ परमाणु-स्कन्धों का छेदन आदि-पद १८९-१९१ | आठवां उद्देशक १६०-१६४ परमाणु-स्कन्धों का सार्द्ध समध्या- १९१-१९२ | २००-२०७ निर्ग्रन्थीपुत्र-नारदपुत्र-पद २०५-२०९ -दि-पद
२०८-२२४ जीवों की वृद्धि-हानि-अवस्थिति-पद २०९-२१३ १६५-१६८ परमाणु-स्कन्धों का परस्पर स्पर्शना- १९२-१९५
२२५-२३४ जीवों का सोपचय-सापचय-आदि-पद २१३-२१५ -पद
नवां उद्देशक १६९-१७४ परमाणु-स्कन्धों की संस्थिति का पद १९५-१९७
२३५-२३६ “यह कौन राजगृह" का-पद १७५-१८० परमाणु-स्कन्धों का अन्तरकाल-पद १९७-१९९
२१६-२१७
२३७-२४७ उद्द्योत-अन्धकार-पद १८१ परमाणु-स्कन्धों का परस्पर अल्प- १९९
२१७-२१९ २४८-२५३ मनुष्य-क्षेत्र में समयादि-पद २१९-२२० बहुत्व-पद १८२-१९० जीवों का सारम्भ सपरिग्रह-पद
२५४-२५७ पार्खापत्यीय-पद
२२०-२२३ १९९-२०३ १९१-१९९ हेतु-पद
२५८,२५९ देवलोक-पद
२२३-२२४ २०३-२०४ दसवां उद्देशक
२२५ २६०
छठा शतक
सूत्र
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सूत्र चौथा उद्देशक ५४-६३ काल की अपेक्षा सप्रदेश-अप्रदेश-
२५५-२६६
-पद
आमुख
२२९-२३० प्रथम उद्देशक १-४ प्रशस्त निर्जरा का श्रेयस्त्व-पद २३१-२३४ ५-१४ करण-पद
२३४-२३६ १५-१७ महावेदना-महानिर्जरा-चतुर्भङ्ग-पद २३६-२३७ संग्रहणी गाथा
२३७ दूसरा उद्देशक
२३८ १८-१९ तीसरा उद्देशक संग्रहणी-गाथा
२३९ २०,२१ महाकर्म वाले आदि के पुद्गल- २३९-२४०
-बन्ध-पद २२,२३ अल्पकर्म वाले आदि के पुद्गल- २४०-२४१
-भेद का पद २४-२६ कर्मोपचय-पद
२४१-२४२ २७-२९ कर्मोपचय का सादि-अनादि-पद २४२-२४३ ३०-३२ जीवों की सादि-अनादिता पद २४४-२४५ ३३-५१ कर्म-प्रकृति-बंध-विवेचन-पद २४५-२५३ ५२,५३ वेदक-अवेदक जीवों का अल्प- २५३-२५४
-बहुत्व-पद
६४-६९ प्रत्याख्यानादि-पद
२६७-२६८ पांचवा उद्देशक ७०-८८ तमस्काय-पद
२६९-२७२ ८९-१०५ कृष्णराजि-पद
२७२-२७५ १०६-११९ लोकान्तिक देव-पद
२७५-२७९ छठा उद्देशक १२०-१२१ नैरयिक आदि के आवास-पद २८० १२४-१२८ मारणान्तिकसमुद्घात-पद २८०-२८३ सातवां उद्देशक १२९-१३१ धान्यों की योनि और स्थिति-पद २८४-२८६ १३२ गणना-काल-पद
२८६-२८८ १३३,१३४ औपमिक-काल-पद
२८८-२९६ १३५,१३६ सुषम-सुषमा में भारतवर्ष-पद २९६-२९७ आठवां उद्देशक १३७-१५० पृथ्वी आदि में गेह आदि की पृच्छा २९८-३०२
का पद
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