________________ परिशिष्ट 1 गाथानुक्रम [ प्रस्तुत अनुक्रम में सूत्र में पाई गाथाओं के केवल प्रथम चरण का उल्लेख किया गया है। पूरी गाथा सामने अंकित पृष्ठ पर देखना चाहिए।] 405 127 585 w 585 562 726 r w 9ur Nor is 584 606 667 272 586 अज्झवसाण निमत्ते अणच्चावितं अवलितं अणागयमतिक्कंतं अणुकंपा संगहे चेव अप्पं सुक्कं बहु प्रोयं अभिई सवणे धणिट्ठा अवणे गिण्हसु तत्तो अस्सत्थ सत्तिवण्णे अह कुसुमसंभवे काले प्राइच्चतेयतविता आइमिउ पारभंता आकंपइत्ता अणुमाणइत्ता आणंदे कामदेवे आ प्रातके उवसग्गे प्रारभडा संमद्दा ग्रारोग्ग दीहमाउं इंदा अग्गेइ जम्मा य इच्छा मिच्छा तहक्कारो इसिदासे य धण्णे य उत्तरमंदा रयणी उप्पाते णिमित्ते मते उर-कंठ-सिरविसुद्धं उवसग्ग गब्भहरणं एए ते नव निहिणो एएसि पल्लाणं एएसि हत्थीणं एरंडमज्भयारे 566 एरंडमज्भयारे 547 गता य अगता य 721 गंधारे गीतजुत्तिण्णा 716 गणियस्स य बीयाणं 441 चंडाला मुट्ठिया मेया 684 चंदजस चंदकंता 635 चंदे सूरे य सुक्के य चंपा महुरा वाराणसी 584 चउचलणपतिट्ठाणा 521 चउरासीति असीति 586 चक्कट्ठपइट्ठाणा 707 चल-वहल-विसमचम्मो 727 छद्दोसे अट्ठगुणे 545 जं जोयणविच्छिन्नं जंबुद्दीबग-अावस्सगं 711 जं हिययं कलुसमयं 664 जणवय सम्मय ठवणा 721 जस्सीलसमायारो अरहा 727 जोधाण य उप्पत्ती 586 णंदणे मंदरे चेव 666 णंदी य खुद्दिमा पूरिमा 586 णंदुत्तरा य गंदा 741 णट्टविही नाडकविही 667 णमि मातंगे सोमिले 87 णासाए पंचमं बूया 272 णिद्देसे पढमा होती 405 णिद्दोस सारवंतं च 301 427 713 680 674 586 646 667 727 583 635 586 Jain Education International For Private & Personal Use Only www.jainelibrary.org