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व्याख्याप्रज्ञप्तिसूत्र
पृथक्-पृथक् सात परमाणु-पुद्गल होते हैं।
विवेचन–सप्तप्रदेशिक स्कन्ध के चौदह विकल्प, यथादो विभाग–१-६। २-५ । ३-४। तीन विभाग-१-१-५। १-२-४।१-३-३। २-२-३। चार विभाग-१-१-१-४।१-१-२-३।१-२-२-२। पांच विभाग–१-१-१-१-३। १-१-१-२-२। छह विभाग–१-१-१-१-१-२।
सात विभाग-१-१-१-१-१-१-१। इस प्रकार कुल ३+४+३+२+१+१=१४ विकल्प हुए। आठ परमाणु-पुद्गलों का संयोग-विभाग-निरूपण
८. अट्ठ भंते ! परमाणुपोग्गला० पुच्छा। गोयमा ! अट्ठपएसिए खंधे भवइ, जाव दुहा कज्जमाणे एगयओ परमाणु०, एगयओ सत्तपएसिए खंधे भवइ; अहवा एगयओ दुपदेसिए खंधे एगयओ छप्पदेसिए खंधे भवइ; अहवा एगयओ तिपएसिए०, एगयओ पंचपदेसिए खंधे भवइ; अहवा दो चउप्पदेसिया खंधा भवंति। तिहा कज्जमाणे एगयओ दो परमाणु०, एगयओ छप्पएसिए खंधे भवइ; अहवा एगयओ परमाणु०, एगयओ दुपएसिए खंधे, एगयओ पंचप्पएसिए खंधे भवति; अहवा एगयओ परमाणु० तिपएसिए खंधे, एगयओ चउपएसिए खंधे भवति; अहवा एगयओ दो दुपएसिया खंधा, एगयओ चउप्पएसिए खंधे भवति; अहवा एगयओ दुपएसिए खंधे, एगयओ दो तिपएसिया खंधा भवंति। चउहा कज्जमाणे एगयओ तिन्नि परमाणुपोग्गला, एगयओ पंचपएसिए खंधे भवति; अहवा एगयओ दोण्णि परमाणुपोग्गला०, एगयओ दुपएसिए खंधे, एगयओ चउप्पएसिए खंधे भवति; अहवा एगयओ दो परमाणुपो०, एगयओ दो तिपएसिया खंधा भवंति; अहवा एगयओ परमाणुपो०, एगयओ दो दुपएसिया खंधा, एगयओ तिपएसिए खंधे भवति; अहवा चत्तारि दुपएसिया खंधा भवंति। पंचहा कज्जमाणे एगयओ चत्तारि परमाणुपोग्गला, एगयओ चउप्पएसिए खंधे भवति; अहवा एगयओ तिन्नि परमाणुपो०, एगयओ दुपएसिए०, एगयओ तिपएसिए खंधे भवति; अहवा एगयओ दो परमाणुपो० एगयओ तिन्न दपएसिया खंधा भवंति। छहा कज्जमाणे एगयओ पंच परमाणपो०. एगयओ तिपएसिए खंधे भवतिः अहवा एगयओ चत्तारि परमाणुपो०, एगयओ दो दुपएसिया खंधा भवंति। सत्तहा कज्जमाणे एगयओ छ परमाणुपोग्गला, एगयओ दुपएसिए खंधे भवति। अट्टहा कज्जमाणे अट्ठ परमाणुपोग्गला भवंति।
[८ प्र.] भगवन् ! आठ परमाणु-पुद्गल संयुक्तरूप से इकट्ठे होने पर क्या बनता है ?
[८ उ.] गौतम ! उनका अष्टप्रदेशिक स्कन्ध बन जाता है। यदि उसके विभाग किये जाएँ तो दो, तीन, चार यावत् आठ विभाग होते हैं। दो विभाग किये जाने पर एक ओर एक परमाणु-पुद्गल और एक ओर सप्तप्रदेशिक स्कन्ध होता है। अथवा एक ओर एक द्विप्रदेशिक स्कन्ध और दूसरी ओर एक षट्प्रदेशी स्कन्ध