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उत्तराध्ययन सूत्र
दूसरा कारण है-जैन आगम अधिकतर गौतम की जिज्ञासाओं और महावीर के समाधानों से व्याप्त हैं। हो सकता है, गौतम ने दूसरों के लिए भी कुछ प्रश्न किए हों और महावीर ने सभी साधकों को लक्ष्य में रखकर कहा हो । चूँकि गौतम ने कुछ पूछा है, इसलिए गौतम को ही सम्बोधित करते रहे हों। इसका अर्थ है–सम्बोधन केवल गौतम को है, और प्रतिबोध सभी के लिए है।
प्रस्तुत द्रुमपत्रक अध्ययन में भगवान् महावीर द्वारा गौतम को किया गया उद्बोधन संकलित है। उद्बोधन क्या है, अन्तर्मन के जागरण का महान् उद्घोष है।
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