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शाहजहां का सेठ शान्तिदास को फरमान
परमेश्वर बड़ा है अबुल मुजफ्फर मुहम्मद
मुहर के अनुसार वंशावली शाहबुद्दीन बादशाह गाजी
अबुल मुजफ्फर मुहम्मद किराने सानी शाहजहां
शाहबद्दीन शाहजहां बादशाह बादशाह गाजी का फरमान
गाजी किराने सानी सने जहांगीर बादशाह अकबर बादशाह हुमायू बादशाह बाबर बादशाह उमरशेख मिर्जा सुल्तान अबूसय्यद सुल्तान मुहम्मद मिर्जा मीराशाह
अमीर तैमूर किरान हुजूर में अजं हुआ है कि चिन्तामण, शत्रुन्ज्य, शंखेश्वर, केसरियानाय का मन्दिर जो असल में जुलुस मुबारक (गद्दी में बैठने से पहले है तथा अहमदाबाद में तीन नया, दूसरा चार खम्भात में, एक-एक सूरत तथा राधनपुर में शान्तिदास के अधिकार में है हज़र आली का हुक्म हुआ है कि उन मकानों तथा जगहों में कोई ठहरे नहीं, आसपास जाये नहीं कारण कि उनका बख्शीश में दिया गया तथा सेवड़ाओं के जो ग्रन्थ भण्डार तथा सरोकन मुंह से देखकर जैसा भी रीति से पढ़े गुजरात जिला में रहे, आमने-सामने झगड़ा न करें, आदेशों के विरुद्ध न जायें और वो लोग बादशाह कायम रहे ऐसी आर्शीर्वाद मांगते रहे अब जरूरी हैं कि वहां के अमलदारों, को इस तरह समझाकर कोई भी तकरार न करें।
लिखा न0 21 आजूर माह इलाही सन् 2 जुलूस (गद्दी पर बैठने का सन्)
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