________________
DER
-warnamaARomamiwww
me
-
art S RISAREna
शवीर प्रशिक्षण प्रविधि शिथिलीकरण से शरीर प्रशिक्षित होता है। वह मन के निर्देशों का पालन करता है। निर्देश देते समय सुखासन की मुद्रा, मेरुदण्ड सीधा, नेन मुंदे हुए अथवा अर्द्ध खुले हुए, मौन और दो-तीन क्षण के लिए निर्विचार मनोदशा। इस अवस्था में शिथिल होने के निर्देश को शरीर शीघ्र ग्रहण कर लेता है।
शिथिलीकरण के परिणाम१. मस्तिष्क को विश्राम २. नाड़ी संस्थान को विश्राम ३. प्रत्येक कोशिका को विभाम
४. सूक्ष्म शरीर का स्थूल शरीर से बाहर निस्सरण
प्रवृत्ति और प्रवृत्तिजनित तनाव की अवस्था में होने वाली शारीरिक और मानसिक शक्ति का व्यय शिथिलीकरण की अवस्था में अपने आप रुक जाता है।
२४ मार्च २०००
(भीतर की ओर
Jain Education InternationaFor Private & Personal Use Only www.jainelibrary.org