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२२ अतीत का वसंत : वर्तमान का सौरभ के समक्ष प्रस्तुत कर दिया। इस अकल्पित घटना पर सब आश्चर्य चकित थे। वह आश्चर्य वर्तमान के आश्चर्य से अधिक बड़ा था। एक अबोध शिशु को प्रबुद्धता के उच्चासन पर आसीन कर देना क्या विश्व का महान् आश्चर्य नहीं है?
* पदाभिषेक के अवसर पर आलेखित एक लघु-निबंध।
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