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करेरिए पंचमहारिसिवयलहेरिएणु यंचासवदाराईसंतेगिरण येत्रिंदिययमाउन जेरियरयु पंचविस
श्रीप्रदिनाथक वअगावसुते करिवीक्षाधरण
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कर, पाँच महामुनियों के पाँच महाव्रत लेकर, पाँच आस्रव के द्वारों को रोककर, पाँच इन्द्रियों के प्रमादों को
छोड़कर,
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