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________________ ४२ ] मेह मंदर पुराण भावार्थ-सुगन्धित द्रव्यों से मिश्रित तेल आदि वस्तुयें राजा के परिवार वाले उनको लाकर देते थे। अठारह प्रकार के वाद्यों की ध्वनि से सारा नगर गूज उठा। नगर के सभी गोपुर तथा प्रजा के घरों में धवल पताकायें फहरा रही थीं। पुत्र के उत्पन्न होते ही उसकी कीर्ति सर्व देशों में फैलने से वह नगर देवमय सा प्रतीत होता था ।४६॥ संजयंदनेनुं पेयरानव । नंजुबायर् तं केवळ शिवाय ॥ मंजिलामदि पोल वळद पि । नंजिलोदियर किन्नमिर्द पाईनगन् ॥५०॥ अर्थ-राजा वैजयन्त ने विधिपूर्वक नामकरण संस्कार करके उस पुत्र का नाम संजयत रक्खा । अनेक प्रकार के वस्त्राभूषणों से उसको प्रलंकृत किया । शुक्लपक्ष के चन्द्रमा के समान वह पुत्र शीघ्र ही वृद्धि को प्राप्त होकर अत्यन्त सुन्दर दीखने लगा। सभी स्त्रियों को उसका वचन मधुर लगने लगा और वह क्रमशः यौवनवास्था को प्राप्त हुआ। भाथार्थ-सकल सम्पत्ति, भोग सामग्री, अनुकूल स्त्री तथा शुभलक्षण युक्त पुत्र यह सब पुण्योदय से पुण्यवान् पुरुष को ही प्राप्त होते हैं । एक कवि ने कहा भी है कि: चित्रानुवर्तिनी भार्या पुत्रा विनयतत्पराः । वैरमुक्त च यदाज्यं सफलं तस्य जीवनम् ।। अर्थ-अपने मन के अनुकूल स्त्री, विनयवान पुत्र तथा इसे रहित राज्य जिस भाग्यशाली पुरुष को प्राप्त हो उसी सत्पुरुष का जीवन सफल होता है ॥५०॥ पुजि करिणळन् मणिकदिर् कुळामुग। मंजिलामदि पुयमणि येळक कनमार ॥ बजिमृधि मनराट् किदुई। पभोमार् मनक्कळिरण पोर्टबमे ॥५१॥ अक्ष-उस संजयंत राजकुमार के सिर के केश सूर्य की किरण के समान प्रकाशमान हो रहे थे। उनका मुखमण्डल निष्कलंक चन्द्रमा के समान चमक रहा था और भुजदंड हाथी की सूड के समान अत्यन्त सुन्दर प्रतीत हो रहा था। उनका हृदय अत्यन्त विशाल तथा लक्ष्मी के भवन के समान अत्यन्त मृदुलता तुल्य प्रतीत हो रहा था । उस बालक के दोनों जांध कदली स्तम्भ के समान अत्यन्त कोमल तथा चमकीले होकर स्त्रियों के मन को प्राकर्षित करने वाले थे॥५१॥ मरिणयि ने करवारिकम बानविर । कर्म निगळा करणे कालति Jain Education International For Private & Personal Use Only www.jainelibrary.org
SR No.002717
Book TitleMeru Mandar Purana
Original Sutra AuthorVamanacharya
AuthorDeshbhushan Aacharya
PublisherBharat Varshiya Anekant Vidwat Parishad
Publication Year1992
Total Pages568
LanguageHindi, Sanskrit
ClassificationBook_Devnagari & Mythology
File Size1 MB
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