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________________ [ पट्टावली-पराग इन तपस्वी प्राचार्य का नाम "समन्तभद्र" था। इनके सत्ता-समय के सम्बन्ध में पट्टावलियों में वर्णन नहीं मिलता। वास्तव में वज्रसेनसूरि के बाद के श्री चन्द्रसूरि से लेकर विमलचन्द्रसूरि तक के २० प्राचार्यों का सत्ता समय अन्धकारावृत है। बिचला यह समय चैत्यवासियों के साम्राज्य का समय था। उग्रवहारिक संविज्ञ श्रमणों की संख्या परिमित थी, तब शिथिलाचारी तथा चैत्यवासियों के अड्डे सर्वत्र लगे हुए थे, इस परिस्थिति में वैहारिक श्रमणों के हाथ में कालगणना. पद्धति नहीं रही। इसी कारण से वज्रसेन के बाद और उद्योतनसूरि के पहले के पट्टधरों का समय व्यवस्थित नहीं है, दमियान कतिपय प्राचार्यों का समय गुर्वावलीकारों ने दिया भी है तो वह संगत नहीं होता, जैसे-तपागच्छगुर्वावलोकार प्राचार्य श्री मुनिसुन्दरसूरजी ने आचार्य श्री वज्रसेन सूरि का स्वर्गवास समय जिन निर्वाण से ६२० में लिखा है, जो विक्रम वर्षों की गणनानुसार १५० में पड़ता है । तब वज्रसेन से चतुर्थ पुरुष श्री वृद्धदेवसूरिजी द्वारा विक्रम संवत् १२५ में कोरण्ट नगर में प्रतिष्ठा होना बताया है, इसी प्रकार १८ ३ पट्टधर प्रद्योवनसूरि के बाद श्री मानदेवसूरि को पट्टधर बताया है। मानदेव के बाद श्री मानतुगसूरि जो बाण और मयूर के समकालीन थे, उनको २० वां पट्टपर माना है, मयूर का प्राश्रम दांता कन्नौज का राजा श्रीहर्ष था, जिसका समय विऋम की सातवीं शती का उत्तरार्द्ध था, यह समय श्रीमान तुगसूरि के पट्टगुरु मानदेवसूरि के और मानतुंगसूरि के पट्टवर वीरसूरि के साथ संगत नहीं होता, क्योंकि मानतुंगसूरि के बाद के पट्टधर श्री वीरसूरि का समय गुर्वावलीकार श्री मुनिसुन्दरजी ने निम्नोद्धत श्लोक में प्रकट किया है : "जने चैत्ये प्रतिष्ठा कृन्नमेनागिपुरे नृपात् । त्रिभिर्वर्षशतैः ३०० किंचिदषिके वीर सूरिराट् ॥३७॥" प्राचार्य मानतुंग कवि बाण मयूर का समकालीन मानना और मानतुग के उतराधिकारी वीरसूरि का समय विक्रम वर्ष ३०० से कुछ अधिक वर्ष मानना युक्ति संगत नहीं है, वीरसूरि के बाद के प्राचार्य जयदेव, Jain Education International 2010_05 For Private & Personal Use Only www.jainelibrary.org
SR No.002615
Book TitlePattavali Parag Sangraha
Original Sutra AuthorN/A
AuthorKalyanvijay Gani
PublisherK V Shastra Sangrah Samiti Jalor
Publication Year1966
Total Pages538
LanguageHindi
ClassificationBook_Devnagari & History
File Size21 MB
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