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________________ कार्यहेतु कार्याद कार्यानुपलब्धि कार्यानुपलम्भ कार्याभावगति कार्योत्पत्ति कालकारकलिंग कालदेशादिभेदिन् कालदेशान्तरव्यापित्व ६. २०; १०.१५; ७५. १३. १०४. १६. कारक कारक कारककल्पना कारकज्ञापकव्यवस्था कारकज्ञापकव्यवस्थाविलोप कारकभेदभेदिन् कारकभेदानुविधायित्व १२४.२६. कारक लक्षण - १६. १५. कारण १२. ८. कारण १२. १६; १८. १० ४३.२५६२. २२, ६३. २२१००. १६; १२३.३१; १२५. २; १२७.२३. कारणकार्यभाव कारणगुणदोष साकल्यवैकल्य कारणपरम्पराभावप्रसंग कारणभेदि कारणमतिपरिच्छिन्नार्थ कारणविरुद्धोपलब्धि कारणशक्ति कारणसत्ता कारणसामर्थ्य कारणानुपलब्धि कारणासंभवाक्षेपविपक्ष काल १६. १४, २१. १७; २५. ६; ८६. ६; ९८. २७ ; १२४. २३. १५.७; २४.२५. ८७. ९. १०४. ३९. १५. ९. १२३. १०. १०४.५. १६. २३; १७. २. १६. १२. १०७. २. ११२. ३. ५. ८. ७३. ७. १०. १३. १०. १६. १९. १६. ४५. १९ ११२. ११. १०१. ३. १८. १८. २२. २. कालभद कालादि कालादिर्धार्मिकल्पना कालादिभेद कालादिलक्षण कालादिव्यवहितात्मपर्याय समुपग्रह कालाद्यनपेक्षिन् कालान्तर काष्ठजन्मन् कुड्यादिक कुड्यादितिरोहित कुण्डलादि कुतर्क कुलालादिघटादिवत् कुशल कूटस्थ कालापकर्षपर्यन्तविवर्त्तातिशया Jain Education International लाक्षणिक दार्शनिक नामसूचिः ६२. १३. १२. १४. २५. ७. १५. ९; २२. ५. १५. ११, २४; १२४. ३१. १०८. २; १२२. १९. १२३. १३. १२४. २४. १०५.४. १०५.२९. १८. २१. ११६. ९. १२०.२५. १०. ८. २३. २. १०५. २०. २५ ११२. ४. कृतक कृतक कृतकत्व ७६. १५; १११. १८. ६. २३, १०४. १४, १०५. २५, २८; १०८.६; ११०. ७, ९, ११२. १६; ११३. १८. कृतकानित्यादिवत् १२४. ३०. कृतस्य करणायोग ८. १३. कृताकृतनियम १११.२५. कृतिकादि कृतिकोदय कृतिकोदयदर्शन ९. २२. ६. २१; १२.२०. १२. १४, १६. १२. २८. १०५. ५. ७८. २७. कृपा कृपालु केवलज्ञान केशादिनिर्भास केशादिविवेकवत् कैवल्य कोशपान कौटस्थ्यप्रसंग कौस्त कौमारादिवत् क्रम क्रमभेद क्रमयुक्त क्रमयौगपद्यविवक्षा क्रमयौगपद्यासंभव क्रियास्थिति क्रोधादि क्रमवति ३. १७. क्रमवृत्ति ३. १५ १०४.२९; ११२. ३०; ११८. १७, २०. ४५. ३. ४. ४. ५१. १०. क्रमस्थिति क्रमाक्रम क्रमोत्पत्ति क्रियाकारक क्रियानिमित्तकव्युत्पत्ति क्रियानिवृत्ति क्रियाभेद क्रियाविष्टद्रव्य क्रियाश्रय १५.८, ११; २४. २७; १७; क्षणक्षयैकान्त क्षणपरिणाम ५. २३; १०४.५. २५. २. १२२. ८. १२०. १७. ९८. १७. १०३. २१. ६४. ७ १०५. १९; १०८. ४. १८. २५. ९९. २५. ३. १५, ८८. १; ११०. १९. ३. १९. ४५. १७. १२३. ५. १०८. २. क्रोधादिकर्मोपादानयोग्यता क्व किं वर्त्तेत क्षणक्षय क्षणभंग क्षणभंगभंग प्रसंग क्षणभंगसिद्धि क्षणभंगिन् १२२. १०. क्षणस्थान For Private & Personal Use Only ८५. .. ४३. ३. १३. १५; १६. २२; २३.२५. २५. ९. ११३. १९. २५.८, १०. २५. ७. १११. १५, १२६. १६. ७६. १७. २३.१०. ११९. २३. १३. १७. ७१. १५; ७६. २८; ८०. ३१. १०५. २. ९८. १७. ३.७; १२. ९; ४६. १; ७१.२९. १२. ९. ६. ७. ७१. २३. ११५. २७. www.jainelibrary.org
SR No.002504
Book TitleAkalanka Granthtrayam
Original Sutra AuthorBhattalankardev
AuthorMahendramuni
PublisherZZZ Unknown
Publication Year1969
Total Pages390
LanguagePrakrit
ClassificationBook_Devnagari & Philosophy
File Size21 MB
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