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________________ ६ पयाप्तियों आहार-सरीरिंदिय, पज्जत्ति आण-पाण-भासमणे। चउ-पंच-पंच-छप्पिय, इगविगलाऽसन्निसन्नीणं ॥६॥ भाषा श्वासोच्छ्वास शरीर आहार TATANTV - इस क्रम से जीव ६ पर्याप्तियाँ पूर्ण करता है । संसार में शरीर बनाने आदि के लिए, रहने के लिए जीव को जो अनिवार्य रूप से आवश्यक साधन-सामग्री चाहिए उसे पर्याप्ति के रूप में कहा है । अतः इनका होना आवश्यक है । अतः जीव गर्भ-रूप जन्मस्थान में आकर सर्व प्रथम उपरोक्त ६ पर्याप्तियाँ बनाता है । और आपको आश्चर्य लगेगा कि मात्र अंतर्मुहूर्त दो घडी = ४८ मिनिट के अल्प समय मात्र में ६ पर्याप्तियाँ जीव पूरी बना लेता ५८४ आध्यात्मिक विकास यात्रा
SR No.002483
Book TitleAadhyatmik Vikas Yatra Part 02
Original Sutra AuthorN/A
AuthorArunvijay
PublisherVasupujyaswami Jain SMP Sangh
Publication Year2007
Total Pages570
LanguageHindi
ClassificationBook_Devnagari
File Size14 MB
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