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________________ ... तीर्थंकर पार्श्वनाथ liv आहार ग्रहण करने, दाढ़ी एवं मूछों के केशलोंच करने तथा शीतोष्ण परिषह सहन करने का उल्लेख किया है, जो सम्पूर्ण जैन धर्ममान्य चर्या है। इससे यह स्पष्ट हो जाता है कि भगवान् महावीर और महात्मा बुद्ध दोनों को पार्श्वनाथ की परम्परा विरासत में मिली थी। बौद्धग्रन्थ अंगुत्तर निकाय की अट्ठकथा के मतानुसार गौतम बुद्ध के चाचा वप्प निर्ग्रन्थ श्रावक थे। न्यग्रोध नामक उद्यान में वप्प और गौतम बुद्ध का कुछ धार्मिक विषयों पर संवाद भी हुआ था। जैन शास्त्रों की मान्यतानुसार पार्श्वनाथ के 250 वर्ष बीत जाने पर महावीर स्वामी का जन्म हुआ था। वीरनिर्वाण संवत् और ईस्वी सन् में 527 वर्ष का अन्तर है। भगवान् महावीर की आयु कुछ कम 72 वर्ष की थी। अतएव 527+72=599 ईस्वीपूर्व में महावीर का जन्म सिद्ध होता है। इसके 250 वर्ष पूर्व पार्श्वनाथ का निर्वाण हुआ था तथा उनकी आयु 100 वर्ष थी। इस प्रकार 599+ 3503949 ईस्वीपूर्व में भगवान् पार्श्वनाथ का जन्म होना प्रमाणसिद्ध है। डॉ. हर्मन जैकोबी ने मज्झिमनिकाय में विद्यमान एक विवाद का उल्लेख किया है, जो सच्चक और बुद्ध के मध्य हुआ था। सच्चक का पिता निर्ग्रन्थ था परन्तु सच्चक स्वयं निर्ग्रन्थ नहीं था। उसने तो भगवान महावीर को भी पराजित करने की गर्वोक्ति की है। बुद्ध और महावीर स्वामी का समय प्रायः एक है, प्रत्युत महात्मा बुद्ध आयु में भगवान महावीर से कुछ ज्येष्ठ ही है। बुद्ध के पूर्वजों का निर्ग्रन्थ सम्प्रदाय पापित्यीय ही था, यह बात उनके चाचा वप्प के पाश्र्वापत्यीय होने से सिद्ध है। भगवान् महावीर ने स्वयं कहा है कि मैं उस धर्म का प्रचार कर रहा हूँ, जो मुझसे पूर्व भगवान पार्श्वनाथ ने किया था। अतः भगवान पार्श्वनाथ की ऐतिहासिकता असंदिग्ध है। भगवान पार्श्वनाथ का जन्म पौष कृष्णा एकादशी को काशीदेश के वाराणसी नामक नगर में हुआ था। उनके पिता का नाम अश्वसेन (विश्वसेन) तथा माता का नाम ब्राह्मी (वामा) था। इनकी माता के नाम का वम्मा और वम्मिला भी उल्लेख मिलता है। जो भाषाविज्ञानमत वैमिन्य प्रतीत होता है। वे उग्रवंशी काश्यपगोत्री क्षत्रिय थे। कहीं-कहीं
SR No.002274
Book TitleTirthankar Parshwanath
Original Sutra AuthorN/A
AuthorAshokkumar Jain, Jaykumar Jain, Sureshchandra Jain
PublisherPrachya Shraman Bharti
Publication Year1999
Total Pages418
LanguageSanskrit, Hindi, English
ClassificationBook_Devnagari
File Size7 MB
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