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सप्ततिकानामा षष्ठ कमग्रंथ. ६ . होय. केमके हिचरमसमय निमा श्रने प्रचलानो क्षय करे, तेथी चारनी सत्ता होय. एम श्रगीश्रार नांगा दर्शनावरणीय कर्मना होय अने पक क्षीणमोहने विषे जे निघानो उदय माने , तेने मतें चारनो बंध, पांचनो उदय अने बनी सत्ता, ए नांगो नवमे अने दशमे गुणगणे दपकने होय, अने बंधने अनावें पांचनो उदय, उनी सत्ता, ए नांगो क्षीणमोहें हिचरम समय लगें होय. एम ए बे नांगा वधे तेवारे तेर नांगा होय. ते वली जिहां जेटली निना होय तिहां तेटली निखार्नु पृथक् नाम लश् कहीयें तेवारें पच्चीश नांगा थाय.
हवे वेदनीय, श्रायु श्रने गोत्र, ए त्रण कर्मने विष संवेध देखाडे बे. वेयणि याजश्रगोए के वेदनीय, आयु अने गोत्र, ए त्रण कर्मने विषे यथागम एटले जेम शास्त्र नाषादिकें कडं, तेम बंधादिक स्थानक संवेध विनऊ के वहेंचीये तिहां वेदनीयकर्मे शाता अथवा यशाता, ए बेमांहेली एकनोज बंध थाय, जे जणी ए बे प्रकृति बंधे तथा उदयें विरोधिनी ले ते माटें एक बंधातां बीजीनो बंध न होय, माटें बंधे एक स्थानक होय. तेम उदय स्थानक पण शाता अथवा अशाता, ए बेमांदेथी एकमुंज होय, अने सत्तास्थानक बेनुं तथा एकमुं, एवं बेहु होय. हवे एना नांगा कहीयें बैये. अशातानो बंध, अशातानो उदय अने शाता, अशाता बेहुनी सत्ता, ए एक नांगो, तथा अशातानो बंध, शातानो उदय अने शाता, अशाता, ए बेनी सत्ता, ए बीजो जांगो. ए बे नांगा मिथ्यात्व गुणगणाथी मामीने प्रमत्तगुणगणा लगें होय, तेवार पड़ी अशातानो बंध बेदाय, माटें एक शातानो बंध, अशातानो उदय थने शाता, अशाता, ए बेनी सत्ता, ए प्रथम नांगो, तथा बीजो शातानो बंध, शातानो उदय अने शाता, अशाता, ए बेनी सत्ता, ए बे नांगा, मिथ्यात्वथी मांडीने सयोगी केवली लगें होय, तेवार पड़ी बंधने अनावें शातानो उदय अने बेहुनी सत्ता तथा अशातानो उदय श्रने बेहनी सत्ता, ए बे नांगा, अयोगीने विचरम समय लगें होय; तेवार पड़ी बहोंत्तेर प्रकृतिमध्ये जेणे अशातानो क्षय कस्यो तेने शातानो उदय भने शातानी सत्ता, ए नांगो अयोगी गुणगणाने नेहेले समय होय, अने जेणे शातानो क्षय कस्यो, तेने अशातानो उदय अने अशातानी सत्ता, ए नांगो अयोगीने बेहेले समय होय. ए बे नांगा एकेक समयना जाणवा. ए सर्व मलीने वेदनीय कर्मना श्राप जांगा कह्या.
हवे आयुःकर्मना नांगा कहे बे. श्रायुने विषे सामान्ये एक बंधस्थानक होय. केम के चारे गतिना श्रायुधे तथा उदयें विरोधी , तेमाटें एक वेलायें बे श्रायुनो बंध तथा उदय न होय, अने सत्तास्थानक एक तथा बे होय, ते केवी रीतें ? तो के
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