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________________ १२८ : मध्यकालीन राजस्थान में जेनधमं यन्त्र की प्रतिष्ठा करवाई । चन्द्रकीर्ति चातसू में थे । २ लिखित प्रतियाँ भेंट में दो । ३ १६४९ ई० में नरेन्द्रकीर्ति ने चातसू के नेमिनाथ मन्दिर में एक स्तम्भ स्थापित करवाया । १६५२ ई० में नेवता के संघी तेजसो और उदयकरण ने गिरनार में यन्त्र की प्रतिष्ठा नरेन्द्र कीर्ति के माध्यम से सम्पन्न की । १६५३ ई० में संघी शंभु और नादा ने दश लक्षण यंत्र की प्रतिष्ठा इनसे करवाई । १६५४ ई० में जगतसिंह ने हस्तिनापुर के सम्यक यंत्र की स्थापना की । १६५९ ई० में जगत सिंह ने ऋणकार यंत्र का स्थापना समारोह आयोजित करवाया ।" आमेर के मूल संघी श्रावक खेमसिंह ने हस्तिनापुर में ऋणकार यन्त्र की प्रतिष्ठा नरेन्द्रकीति से सम्पन्न करवाई । " १६७२ ई० में संघी नरहरिदास और पूर्वानन्द ने सम्मेद शिखर में दशलक्षण यन्त्र का स्थापना समारोह सुरेन्द्रकीर्ति की प्रेरणा से करवाया । १६७५ ई० में उन्होंने ही परर्श्वनाथ यन्त्र की प्रतिष्ठा की ।" सुरेन्द्रकीर्ति के उत्तराधिकारी जगत्कीर्ति ने कई ग्रन्थों की प्रतिलिपियाँ करवाई । १२ १६८९ ई० में संघी सोनपाल ने करवर में इनसे यन्त्र की प्रतिष्ठा करवाई । १३१६८९ ई० में ही चांदखेड़ी में संघी कृष्णदास द्वारा कई प्रतिमाओं का प्रतिष्ठा समारोह इन्हीं के माध्यम से आयोजित करवाया गया । १४ १७१६ ई० में धोलेता नामक स्थान पर कुछ प्रतिमाओं का स्थापना समारोह देवेन्द्रकीति १० १६०४ ई० के स्तम्भ लेख से ज्ञात होता है कि उस समय देवेन्द्रकीति को कई श्रावकों ने विभिन्न ग्रन्थों की हस्त १. जैइरा । २. एरिराम्यूअ १९२७-२८, पृ० ११ । ३. प्रस, पृ० ७६, ८९, २८, १८९-९० । ४. एरिराम्यूअ १९२७-२८, क्र० १२ । ५. जैइरा, पृ० ८२ । ६. वही । ७. वही, पृ० ८३ ॥ ८. वही । ९. वही । १०. वही । ११ वही । १२. प्रस, पृ० ४२९, १७४ ॥ १३. जैइरा, पृ० ८४ । १४. वही । Jain Education International For Private & Personal Use Only www.jainelibrary.org
SR No.002114
Book TitleMadhyakalin Rajasthan me Jain Dharma
Original Sutra AuthorN/A
AuthorRajesh Jain Mrs
PublisherParshwanath Shodhpith Varanasi
Publication Year1992
Total Pages514
LanguageHindi
ClassificationBook_Devnagari & Art
File Size21 MB
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