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प्रारंभिक सरल व्यञ्जन परिवर्तन
१२५ नियम २०५ (वंश-दहोः ११२१८) दंश और दह धातु के द को ड होता है। द73-डसइ (दशति) डहाइ (दहति)
नियम २०६ (निम्ब-नापिते ल-ग्हं वा १२३०) निम्ब के न को ल और नापित के न को ण्ह आदेश विकल्प से होता है। न7ल, पह-लिम्बो, निम्बो (निम्बः) ण्हाविओ, नाविओ (नापितः) ।
नियम २०७ (बिसिन्यां भः ११२३८) बिसिनी के ब' को भ होता है। ब74--भिसिणी (बिसिनी)
नियम २०८ (प्रभूते वः ११२३३) प्रभूत शब्द के प को व होता है । 474-वहुत्तं (प्रभूतम्) ।
नियम २०६ (मन्मथे वः ११२४२) मन्मथ शब्द के आदि म को व होता है। म.74-वम्महो (मन्मथः)
नियम २१० (यष्ट्यां लः १२४७) यष्टि शब्द के य को ल होता है । य7ल-लट्ठी (यष्टिः)।
नियम २११ (युष्मद्यर्थपरे तः १।२४६) युष्मद् शब्द युष्मद् अर्थ में हो तो य को त हो जाता है । य7 त-तुम्हारिसो (युष्मादृशः) तुम्हकेरो (युष्मदीयः) ।
नियम २१२ (लाहल-लाल-लाङ्गले वादेणः ११२५६) लाहल, लाङ्गल, लाङ गूल शब्दों के आदि ल को ण विकल्प से होता है।। ल7ण---णाहलो, लाहलो (लाहलः) णङ्गलं, लङ्गलं (लाङ्गलम् ) णङ गूलं,
लङ गूलं (लाङ्गूलम्)
नियम २१३ (ललाटे च १२२५७) ललाट शब्द के आदि ल को ण आदेश होता है। ल7ण-णडालं, णिडालं (ललाटम्)।
दियम २१४ (षट्-शमी-शाव-सुधा-सप्तपणेष्वावश्छः ११२६५) इन शब्दों के आदि वर्ण ष, श और स को छ आदेश होता है। श, ष, स70-छट्टो (षष्ठः) छप्पओ (षट्पदः) छम्मुहो (षण्मुखः) छमी
(शमी) छावो (शावः) छुहा (क्षुधा) छत्तिवण्णो (सप्तपर्णः)।
नियम २१५ (शिरायां वा ॥२६६) शिरा शब्द के आदि श को छ विकल्प से होता है। श7छ-छिरा, सिरा (शिरा)। वाक्य प्रयोग
समुदस्स नीरं महुरं नस्थि । अस्स गामस्स बाहिं नई वहइ । मेहं विणा
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