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१, २, ७३.] दव्वपमाणाणुगमे चउग्गइअप्पाबहुगपरूवणं [२९९ संजदासंजदअवहारकालो असंखेज्जगुणो । तदो पढमपुढविअसंजदसम्माइट्ठिअवहारकालो असंखेज्जगुणो। सम्मामिच्छाइटिअवहारकालो असंखेज्जगुणो । सासणसम्माइट्ठिअवहारकालो संखेज्जगुणो । एवं णेयव्वं विदियादि जाव सत्तमपुढवि त्ति । तदो आणद-पाणदअसंजदसम्माइद्विअवहारकालो असंखेज्जगुण।। को गुणगारो ? आवलियाए असंखेजदिभागो । आरणच्चुदअसंजदसम्माइटिअवहारकालो संखेज्जगुणो। को गुणगारो ? संखेज्जसमया । एवं णेयव्यं जाव उपरिमउवरिमगेवजो त्ति । तदो आणद-पाणदमिच्छाइट्ठिअवहारकालो संखेज्जगुणो । को गुणगारो ? संखेज्जसमया । आरणच्चुदमिच्छाइट्ठिअवहारकालो संखेजगुणो। को गुणगारो ? संखेज्जसमया। एवं णेयव्वं जाव उवरिमउवरिमगेवजो ति । तदो अणुदिसअसंजदसम्माइटिअवहारकालो संखेज्जगुणो । को गुणगारो ? संखेज्जसमया । अणुत्तरविजय-बइजयंत-जयंत-अपराजिद-असंजदसम्माइटिअवहारकालो संखेज्जगुणो । को गुणगारो ? संखेज्जसमया । तदो आणद-पाणदसम्मामिच्छाइटिअवहारकालो असंखेज्जगुणो । को गुणगारो ? आवलियाए असंखेजदिभागो। आरणच्चुदसम्मामिच्छाइटिअवहारकालो
है। इससे उन्हींका संयतासंयत अवहारकाल असंख्यातगुणा है । तिर्यंच संयतासंयतोंके अवहारकालसे प्रथम पृथिवीके असंयतसम्यग्दृष्टियोंका अवहारकाल असंख्यातगुणा है। इससे उन्हींका सम्यग्मिथ्यादृष्टि अवहारकाल असंख्यातगुणा है। इससे उन्हींका सासादन. सम्यग्दृष्टि अवहारकाल संख्यातगुणा है । इसीप्रकार दूसरी पृथिवीसे लेकर सातवीं पृथिवीतक ले जाना चाहिये। सातवीं पृथिवीके सासादनसम्यग्दृष्टि अवहारकालसे आनत और प्राणतके असंयतसम्यग्दृष्टियोंका अवहारकाल असंख्यातगुणा है। गुणकार क्या है ? आवलीका असंख्यातवां भाग गुणकार है । इससे आरण और अच्युतके असंयतसम्यग्दृष्टियोंका अवहारकाल संख्यातगुणा है। गुणकार क्या है ? संख्यात समय गुणकार है । इसीप्रकार उपरिम उपरिम अवेयकतक ले जाना जाहिये। उपरिम उपरिम प्रैवेयकके असंयतसम्यग्दृष्टि अवहारकालसे आनत और प्राणतके मिथ्यादृष्टियोंका अवहारकाल संख्यातगुणा है। गुणकार क्या है ? सख्यात समय गुणकार है । इससे आरण और अच्युतके मिथ्यावष्टियोंका अपहारकाल संख्यातगुणा है। गुणकार क्या है ? संख्यात समय गुणकार है । इसीप्रकार उपरिम उपरिम येयकतक ले जाना चाहिये। उपरिम उपरिम अवेयकके मिथ्यादृष्टि अवहारकालसे अनुदिशके असंयतसम्यग्दृष्टियोंका अवहारकाल संख्यातगुणा है। गुणकार क्या है ? संख्यात समय गुणकार है। अनुदिशोंके असंयतसम्यग्दृष्टि अवहारकालसे विजय, वैजयन्त, जयन्त और अपराजित इन अनुत्तरवासी देवोंका असंयतसम्यग्दृष्टि अवहारकाल संख्यातगुणा है । गुणकार क्या है ? संख्यात समय गुणकार है। इससे आनत और प्राणतके सम्यग्मिथ्यादृष्टियोंका अवहारकाल असंख्यातगुणा है । गुणकार क्या है ? आवलीका असंख्यातवां भाग गुणकार है। इससे आरण और अच्युतके सम्यग्मिथ्याडष्टियोंका अघहारकाल संख्यातगुणा है। गुणकार क्या है ? संख्यात समय गुणकार है। इसीप्रकार
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