Book Title: Vardhaman Jivan kosha Part 2
Author(s): Mohanlal Banthia, Shreechand Choradiya
Publisher: Jain Darshan Prakashan

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Page 388
________________ वर्धमान जीवन-कोश ३४१ पाल जैन, दिल्ली । भगवान् महावीर के जीवन से सम्बन्धित यह 'विश्व कोश' है। भगवान महावीर के जीवन और सिद्धांतों के ध्य में विपुल साहित्य की रचना हुई है, किन्तु वह इतना फैला हुआ है कि शोधकर्ताओं को इसकी पूरी जानकारी करने में बड़ी कठिनाई होती है। आलोच्य कोश ने उस कठिनाई को बहुत कुछ अंशों में दूर कर दिया । बरलाल नाहटा, कलकत्ता . भगवान महावीर की जीवनी सम्बन्धी समस्त पहलुओं के अवतरणों का संग्रह करने में विद्वान सम्पादकों ने बड़े धैर्यपूर्वक श्रुतसमुद्र का अवगाहन कर बहुत ही महत्वपूर्ण भागीरथ प्रयत्न किया है। गलप्रकाश मेहता, वाराणसी यह ग्रन्थ जैन आगम और आगमेतर साहित्य पर शोध कर रहे छात्रों के लिए विशेष उपयोगी सिद्ध होगा। डा० नरेन्द्र भाणावत, जयपुर वर्धमान महावीर के जीवन की आधारभूत सामग्री का यह प्रामाणिक संदर्भ ग्रंथ शोधाथियों के लिए अत्यन्त ही उपयोगी और पथ प्रदर्शक है। श्री रतनलाल डोशी, सैलाना यह ग्रंथ अपने आप में अद्वितीय अनूठा और विद्वानों के लिए बहुमूल्य निधि है। इसके पीछे सूझ-बूझ के साथ काट सा पुरुषार्थ हुआ है। भगवान् के जीवन सम्बन्धी जो और जितनी सामग्री इसमें संकलित हुई है, पहले किसी ग्रंथ में नहीं हुई : जिस निष्ठा, अनुभव और धैर्य से यह कोश सम्पन्न हुआ है, वह अभिवन्दनीय है । 'मंगलदेव शास्त्री, गजगृह महाश्रमण भगवान् महावीर पर अब तक अनेक पुस्तकें प्रकाशित हो चुकी है, पर प्रस्तुत ग्रंथ का अपना विशेष महत्व है ! यह सम्पादक द्वय की उदार एवं समन्वयवादी दृष्टि को उजाकर करता है। प्रस्तुत ग्रंथ विद्वानों के लिए, विशेष रूप से शोध छात्रों के लिए विशेष उपयोगी है। श्री भंवरलाल जैन न्यायतीर्थ, जयपुर भगवान् महावीर के च्यवन से परिनिर्वाण तक का विस्तारपूर्वक विवेचन इस कोष में किया गया है। दिगम्बरश्वेताम्बर एवं जनेतर सामग्री का यथास्थान संकलन कर इतिहास प्रेमियों एवं शोध छात्रों के लिए इसे एक संदर्भ ग्रंथ बना दिया है। कंवर साहब मानसिंहजी, लावा सरदारगढ़ भगवान महावीर के जीवन की अपूर्व व विशद मामग्री है। इस कार्य को पूरा कर दिखाने में यह आपके परिश्रम व तप का ही फल है: युगप्रधान आचाय श्री तुलसी इसमें भगवान महावीर के जीवन से सम्बन्धित काफी सामग्री एकत्रित है। इस विषय में शोध करने वालों के लिए यह ग्र-थ बहत ही उपयोगी बन सकेगा--ऐसा विश्वास है। Jain Education International For Private & Personal Use Only www.jainelibrary.org

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