Book Title: Unadigana Sutra
Author(s): Hemchandracharya, 
Publisher: Education Society Press

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Page 260
________________ 178 before धेनु: in T. See S. IV, 2. P. 816. शीदित्या- सीतासह V । लत्वे VI, 1, 45.1 om. Ti 789. जह घCTIजह इ- BT | 817. -ररुः TIतुंबरुः TI 790. कगो चांता- BI 818. कुंदित्या-T. In B it seems to 791. कित् तु न इ-- B| कृतु: Tहत्तुः be कुंट इ- T हन्त: V(हिमः)। 821. द्रुश्च for वृक्षश्च VI 792. सन्वद्भवतः TIविप्रः दिनः for ब्राझ- 822. नर्षिश-- TV । लज्जाशील: VI णो दिवसः। प्राणा: BI वृक्षांश: V। 793. चंद्र: मेघः BI 823. उप च BI 795. जीवोर-CTp. m. नाम्युपात्य- 824. अस्यादिगर्ग T अस्यादिर्गग उV" त्वात् VI द्रवि ह्रस्वश्च V | अश्वश्च om. TI कमपूर्वादनितो. 796. वचेरंक: B वचविनुः V|-द अंकुः प्र. डीतो अणिते BI वचंक: B विप्रः for ब्राह्मणः VI 825. पर्शः वक्रिः संज्ञVI-स्थिः TI 797. -मण्डि- om.V पिकच for कोकि 626. मस्जे:-- S.IV, 4.P.VII,1,601 लश्च VI पिकः for कोकिल: V । स्वर्णे VI 829. नर्षिभ्य CTVI अंगारप-TVNमुदितश्च BIV adds अनुक्ता निगंताः at the रिषा B| चमू T | देहः for शरीरम् V}-शिः end of the commentary. I श्रीः ज्या वररोहा V ज्या बेरारोहा B ज्यावा: 798. असनं TI वरारोहा TT or -धः। कंड़: विष् च BI 799. Q: c । अंबु: TI 830. फल च ) 801. यदिशधिदसि V । यद्य: T। मूर्यः for | 831. कषेण्डीच्छो कडांछो । आदित्यः VIपिता प्रादुर्भावः वायु: B पिता om. 832. धश्चांता- T-पन्नकन्या BI VIऋतुश्च VI 833. वृद्धि-=S. IV, 3. P. VII, 802. सूर्य: for आदित्यः ।। 1141 803. -मनेमिछं- T वातश्च for वायुश्च VI 834. जश्चांतादेशो भ- B) 804. भूकृपिचरेरन्यक् T भूक्षिपच- CI 835. शक्त्याख्यमस्त्रं वि° for वृक्षतिन्यूक् ।। हर: for ईश्वर: VIक्षिपन्यु: VIअ.. |V मतिः for गातः T। कचते TV शल 805. इति om. TI गत B शलते TI 806. -सिभ्यो । चरुःT | नरुः | 837. लश्नांतादेशःTIभवति का BIआरूः शः for जनपदः V। कलबि- T| अश्रुः नत्रांबुः दर्ब TI 838. अलाव: V) 808. प्रत्ययोऽस्य च TI 839. -दीरे ल च V | लांतादेशश्च ॥ TI 809. -स्तु च V | प्रत्ययो तकारश्चांतादेशो छादिच्छेय ।। T| देहांशः for शरीरावयव: V | शद्रु B ना for 841. स्वरांतोऽनश्च TI वक्त्रः for वज: B) पुरुषः V | अर्यु: BI मां-=S. I, 3. P. VIII, 3, 24. 4, 58.1 811. हरिकषिशोषश्च T | मद्यते BVI न स्यात् ।। रेचांतःT | देवदुः ।। 842. -दिधिषः दि-VIदिधीष् इत्यादेशावस्य 812. अनः for शकटम् V Pः for वृक्षः - T। यायस्याः देधीषुः । दीधीः । येष्टा TI V। कुटादि-=S. IV, 3. P. I, 2, 1।। 843. चर्ममयावपनं VI अरुरुः V | आसुर for आयुधं T शखं VI 8 44. गाधि- B-स्वधि-C प्रकृतिश्च BI मंडनं VI 813. कर्कि गतौ सौत्र: V-चिर्भटी B-च सर्द्धनः कृतिजाति: VI बलिदा-T) -श्च सुरः। भिटी VI आमावास्या TI 814. आदेश्च om. BI-- चोकारी कारोभ 845. तृषडिभ्या TI खडू: TV I T| एकारदेशौ भ-- BIT adds उ [अ] वैत्या 846. दर्वी T | कुष्टविशेष: BI तिमिाते before उर्वारुः। 847. व: V आदर्शः B| कुर्विदश्च BF -815. कित् om. VIदयासार: TIपियाल: रुविंदुश्च V I वृक्षविशेष: T 2जातिः VI 1 848. शंकेरधु: B आभ्यां धू: प्र-T| .. VI VI Aho 1 Shrutagyanam

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