Book Title: Shravak Dharma Anuvrata
Author(s): Chandanmal Nagori
Publisher: Chandanmal Nagori

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Page 70
________________ एक रूपये सात क्षेत्र का लाभ श्री जिनदत्तसूरि सेवा संघ के सदस्य बन कर पुण्य सञ्चय करिये सदस्य शुल्क 1) रुपश सिर्फ सेवा संघ समाज की सेवा करने में आपका सहयोग चाहता है एक रुपया वार्षिक देना बड़ी बात नहीं है / बगैर विलम्ब पत्र लिखिये।। मंत्री-प्रतापमलजी सेठिया श्री जिनदत्तसरि सेवा संघ --38 मारवाडी बाजार, बम्बई 2. ఆ మారిన తుంపలుచటి మైలతు వరకు मुद्रक-पं० ईश्वरलाल जैन "स्नातक श्रानन्द प्रिंटिंग प्रेस Jain Education InternationaFor Private & Personal use only. www.jainelibrary.org

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