Book Title: Rushabh Charitra Varshitap Vidhi Mahatmya
Author(s): Priyadarshanashreeji
Publisher: Mahavir Prakashan

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Page 115
________________ "नमो सुयदेवयाए भगवईए" "भोजन करने से पहले इतना जरुर करो" पक्षियों को दाना, धान देने से धंधा, व्यापार जोरदार चलता है, सर्वत्र प्रगति होती है। ___ कुत्ते को रोटी खिलाने से दुश्मन और विरोधी शांत होते हैं। * गायों को चारा, पानी देने से कष्टपीड़ा दूर होती है। चींटियों को चीनी देने से कर्जा उतरता है सुगर ठीक होती है। साधर्मिक भाई-बहनों की मदद करने से लक्ष्मी बढ़ती है। साधु-साध्वियों को आहार पानी बहराने से अखूट पुण्यानुबंधी पुण्य का लाभ होता है। उत्कृष्ट भाव रसायन में तीर्थकर गौत्र का भी लाभ मिलता है। “देता भावे भावना, लेता करे संतोष। वीर कहे सुन गोयमा, दोनों जासी मोक्ष।" श्रुत सेवा में तन-मन-धन से सहयोगी बनने से ज्ञानावरणीय कर्म की निर्जरा होती है। मूर्ख भी पंडित होकर सर्वत्र माननीय बन जाता है। - श्रुत सेवा लाभार्थी : सेवाभावी श्रीयुत् बस्तीमल जी एवन्ता कुमारजी, शीतल जी सुपार्श्व जी पुंगलिया मुद्गल (कर्नाटक) मो. 8277050371 तपस्वी रत्न श्रीमान भंवरलाल जी अशोक कुमार जी संचेती बैंगलोर (कर्नाटक) सेवाभावी श्रीयुत् उगमचंद जी निर्मलकुमार जी, मनीष कुमारजी मेहता ___ (छाजेड़) महावीर नगर, दुर्ग (छ.ग.)

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