Book Title: Pravrujyavidhankulama
Author(s): Jinendrasuri
Publisher: Harshpushpamrut Jain Granthmala

View full book text
Previous | Next

Page 1
________________ श्री हर्षपुष्पामृत जैन ग्रन्थमाला - ग्रन्थाक ३.३१ श्री महावीर जिनेन्द्राय नमः श्रीमणिबुद्ध्याणंदहर्षकर्पूरामृतसूरिभ्यो नमः प्राचीनाचार्य विरचित समरादित्य संक्षेपकृतश्री प्रद्युम्नाचार्य प्रणीत वृत्तियुत 5 ॥ || श्री प्रवृज्याविधानकुलकम् ॥ * संशोधकः संपादकश्च तपांमूर्ति-पूज्याचार्यदेव श्रीविजयकपूरसूरीश्वर पट्टधर- हालारदेशोद्वारक-कविप्रभावक-पूज्याचार्यदेवश्रीविजयामृत सूरीश्वर पट्टधरः पूज्याचार्यदेव श्रीविजयजिनेन्द्रसूरीश्वरः सहायक : पू. आ. श्री विजयजिनेन्द्र सृ. सदुपदेशतः वडोदरास्रशः श्री सुभानपुरा जैन धार्मिक धर्मादा ट्रस्ट एवं मुंबई - शिवसाय श्री श्वे. मू. जैनसंघ प्रकाशिका : श्री हर्षपुष्यामृत जैन शब्थमाला, लाखाबावल -शांतिपुरी (सौराष्ट्र) ܀

Loading...

Page Navigation
1 2 3 4 5 6 7 8 9 10 11 12 ... 194