Book Title: Navkar ke Chamatkar Diwakar Chitrakatha 003
Author(s): Vishalmuni, Shreechand Surana
Publisher: Diwakar Prakashan

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Page 33
________________ कुछ देर बाद गुलाब चन्द भाई की बेहोशी टूट गई। होश आने पर उन्हें अपनी तबियत में हल्कापन महसूस होने लगा। वे बोले पानी लाओ मुझे प्यास लगी है। www Jain Education Infes णमोकार मंत्र के चमत्कार कहाँ सन्ध्या तक एक घूँट पानी न पी सकने वाले व्यक्ति को पूरा लोटा पानी पीता देखकर परिवारवालों में आशा की एक किरण चमकी। उन्हें गुलाब चन्द भाई के चेहरे पर जिन्दगी की चमक दिखाई दी। माँ ने पूछा SAN उनका लड़का दौड़कर पानी ले आया। गुलाब चन्द भाई ने पूरा लोटा भरकर पानी पी लिया। बेटा ! थोड़ा दूध पी ले। PREND दूध पीकर गुलाब चन्द भाई गहरी नींद में सो गये सुबह उठे एक लोटा पानी और लाओ। 31 (०३३१ Pulsate & Personal use only ले आइये पीने की कोशिश करूँगा। मुझे अपने अन्दर एक नई स्फुर्ति का अनुभव हो रहा है। www.jainelibrary.org


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