Book Title: Mananiya Lekho ka Sankalan
Author(s): 
Publisher: ZZZ Unknown

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Page 54
________________ समाचार जिल्ला कलेक्टर के पद पर विदेशी नागरिक की नियुक्ति हो सकेगी नई दिल्ली। केन्द्र की योजना यदि मंजूर होगी | को सरकारी सेवाओं में नियुक्त किया जा सकेगा। तो जिल्ला मजिस्ट्रेट, जिल्ला कलेक्टर के रूप में यह कहने भी आवश्यकता नहीं कि शालाओं कोई अमेरिकन नागरिक होगा और इस बारे में में प्रवेश से शुरु करके पेट्रोलपंप के वितरण में सरकार आश्चर्यचकित नहीं होंगे। वैश्विकीकरण के नाम से यह | ऐसे विशेषाधिकारों का कैसे सदुपयोग करती है। सबकुछ करने की तैयारी हो रही है। यह योजना मंजूर प्रधानमंत्री के आधीन कार्मिक मंत्रालाय ने विधेयक, होगी तो केन्द्र के नौकरशाही में विदेशी नागरिकों को ड्राफ्ट किया है। लेकिन इस विभाग के सहायक सचिव 'चोर दरवाजे से' प्रवेश दिया जाएगा। कल अमेरिकी जे. सी. पांडेय ने यह कह कर बचाव किया था कि नागरिक भारत संरक्षण सचिव बन जाए या वित्त सचिव इनका मसौदा प्रशासनिक विभाग ने तैयार किया है। पद पर विश्व बैंक का कोई अधिकारी हो तो आश्चर्य | सुचार की दिशा में यह नया आइडिया नहीं। नौकरशाही जिम्मेदार बनाने के लिए केन्द्र ने प्रशासन सुधार विभाग के अधिकारी नरसिंहन . पब्लिक सर्विस बिल का मसौदा तैयार किया है, उसमें का कहना है कि विधेयक कैबिनेट सचिव की अध्यक्षता नौकरशाही में विदेशी नागरिकों की नियुक्ति का सरकार में एक कोर ग्रुप ने ड्राफ्ट किया है। विदेशी नागरिकों को विशेषाधिकार होमा। इस विधेयक के बारे में जनता को सरकारी पद पर नियुक्त करने संबंधी प्रावधान के की प्रतिक्रिया मांगी गई है। | बारे में उनकी ऐसी दलील है कि प्रशासनिक सुधार जिम्मेदारी के बारे में पर्याप्त उपाय नहीं की दिशा में यह नई युक्ति है। इसके बारे में जनता के मसौदा पढ़ा जाए तो प्रशासन सुधार के बारे में सुझाव की प्रतीक्षा की जा रही है। यह तो सिर्फ मसौदा और एक रिपोर्ट जैसा लगता है। नौकरशाही को कैसे है। कानून नहीं बना। तो इसमें गलत क्या है? जिम्मेदार बनाया जाए इस बारे में उसमें पर्याप्त उपाय | ग्लोबलाइजेशन के इस दौर में काबिल विदेशीअधिकारियों नहीं है उसके चैप्टर १० के क्लाज ३ में एक | की सरकारी सेवाओं में नियुक्त करने में आखिरकार चिन्ताजनक बात है कि विशिष्ट परिस्थितियों में क्या आपत्ति है? सरकार की लिखित मंजूरी में विदेशी नागरिकों (आधार : सांज समाचार, ११-२-२००७) - समीक्षा उपरोक्त समाचार के अनुसार यदि जिल्ला | नागरिकता पद्धति का लाभ उठाकर विदेशी भी भारत कलेक्टर के पद पर विदेशी नागरिक नियुक्त किए के संविधान सभा आदि में चुने जा सकते है या जा सकेंगे, तो फिलहाल जो लाल बत्तियों की गाड़ी में नहीं? चुने जा सके तो राज्य के मुख्यमंत्री आदि फिर रहे हैं, सरकारी आलीशान निवास स्थान की बन सकेंगे या नहीं? क्या पुनः यूरोपियन साम्राज्य सुविधा ले रहे हैं 'साहब' का बिरुद प्राप्त कर जनता की देश में स्थापना होगी? इतिहास का पुनरावर्तन को धमका रहे हैं, इन देशी नौकरशाहों का क्या होगा? | होगा? देशी विधायक - मंत्री आदि अस्थाई आधार उनकी सरकारी नौकरी और पद चालू रहेगा? या | पर नियुक्त हुए थे उनका उपयोग कर उनके द्वारा. उन्हें घर बैठने की नौबत आएगी? जनता के जीवन के तमाम अंगों पर स्वराज्य के सिर्फ कलेक्टर जैसे ऊंचे पद पर ही विदेशी | नाम पर जो ठोस लोहे का चौकट फिर करना था नियुक्त किए जाएंगे? या मुख्यमंत्री के पद पर भी | वह फिट हो गया होगा? इसलिए अब उन्हें निवृत्त श्वेत प्रमुख विराजमान होंगे? विराज सकेंगे? पिछले करना होगा? भरिभ्य के गर्भ में क्या छिपा होगा? कुछ वर्षों से देश में लागू चुनाव पद्धति तथा दोहरी | कोई भविष्य वेत्ता कह सकेगा? Jain Education International Fop v ate Use Only www.jainelibrary.org

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