Book Title: Gyanarnav
Author(s): Shubhachandra Acharya, Balchandra Shastri
Publisher: Jain Sanskruti Samrakshak Sangh Solapur
View full book text
________________
७३६
ज्ञानार्णवः
संरक्षणानन्द 1257 संरम्भ 481 संवर 179 F., 396 संवृतात्मा 182 संवेग 268, 333, 393, 398,
1990 संसर्ग 726 संसार 116 F., 125 संस्कार 1220 संस्था 1351 संस्थानविचय 1689 F., 1876 संस्थितिविचय 1621 संहनन 1194, 2117 सात 93 सातावेदनीय 1671 सामायिक 473 साम्य 1147 F., 1163,1165
1182 साम्यवृत्ति 1173 सार 1059 सार्व 1922 सालम्ब 1620 सिद्ध 398, 1060*7, 1956
सिद्धचक्र 2020 F., 2021 सिद्धज्ञान 2212 F. सिद्धवीर्य 2216 सिद्धवैभव 2217 F., 2221 सिद्धसुख 2208 सिद्धात्मा 1498 सिद्धि 1941 सिद्धिधाम 1872 F. सुखलेश्या 1871 सुखासम 1311 सुप्रतिष्ठितयोग 1577 सुरसंभव 1812 F. सुषुम्ना 1416 सूक्ष्म 1620 सूक्ष्मक्रिया 2194 सूक्ष्मक्रियाप्रतीपाति 2151 सौधर्म 1868 स्कन्ध 417 स्त्री 641 F. स्थान ( त्याज्य ) 1289 F. स्थावर 126,400 स्थिति 1625 स्थितिबन्ध 436
स्थिरमनः 1072 स्थूल 1620 स्याद्वाद 453 स्व 2032 स्वज्ञान 915 स्वतत्त्व 1112 स्वदशिन 920 स्वभावस्थ 2110 स्वयंभू 1993 स्वयंभूरमण 1772 स्वसंवेद्य 1543 स्वस्तिक 1060*4 स्वाङ्गगर्भ 2032 ह 1936 हैं 1432, 1888 हर 638 हरि 638, 1922 हंसपद 2003 हिंसा 490 हिंसानन्द 1225, 1236 F. हिंसारौद्र 1226 F. हेय 1165 ह्रीं 1982
5. विशेषनामसूची
इन्द्रभूति 6 चन्द्रप्रभ 3 जिनसेन 16 देवनन्दी 15 द्वारवती 935 द्वीपायन 935 भट्टाकलङ्क 17
बसु ( राजा ) 571 वृषध्वज 1 शान्तिनाथ 4 शालिमत्स्य 517 श्रीवर्धमान 5 समन्तभद्र 14 स्वयंभूरमणार्णव 517
Jain Education International
For Private & Personal Use Only
www.jainelibrary.org
Page Navigation
1 ... 823 824 825 826 827 828