Book Title: Anusandhan 1993 00 SrNo 02
Author(s): Shilchandrasuri
Publisher: Kalikal Sarvagya Shri Hemchandracharya Navam Janmashatabdi Smruti Sanskar Shikshannidhi Ahmedabad

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Page 90
________________ कलिकालसर्वज्ञ श्री हेमचन्द्राचार्य नवम जन्मशताब्दी स्मृति शिक्षण-संस्कार निधिनां प्रकाशनो संपा. मुनि चरणविजयजी 1987 संपा. मुनि पुण्यविजयजी H. C. Bhayani मधुसूदन मोदी 1988 1989 त्रिषष्टिशलाकापुरुषचरितमहाकाव्य-मथ 1 (पुनर्मुद्रण) ग्रंथ 2 Studies in Desya Prakrit हेमसमीक्षा (पुनमुद्रण) हेमचंद्राचार्यकृत अपभ्रश व्याकरण (सिद्धहेमगत) (द्वितीय संस्करण) विजयपालकृत द्रौपदीस्वयंवर (पुनर्मुद्रण) कलिकाल सर्वज्ञ श्री हेमचंद्राचार्य स्मरणिका अनुसंधान-१ (अनियतकालिक) अपभ्रंश व्याकरण (हिन्दी अनुवाद) आवश्यक-चूणि संपा. हरिवल्लभ भायाणी 1993 आद्य संपा. जिनविजयजी मुनि 1993 संपा. शान्तिप्रसाद पडया 1993 1993 प्रा. बिन्दु भट्ट मुद्रणाधीन संपा. मुनि पुण्यविजयजी , सहायक रूपेन्द्रकुमार पगारिया संपा. रमणीक शाह प्रबंधचतुष्टय नेमिनंदन ग्रंथमाळाना हमणांनां प्रकाशन अलंकारनेमि मुनि शीलचन्द्रविजय हेमचंद्राचार्य कृत महादेवबत्रीशी-स्तोत्र संपा. मुनि शीलचन्द्रविजय 1989 श्रीजीवसमास-प्रकरण टीकाकार मलधारी हेमचद्रसूरि संपा. मुनि शीलचन्द्रविजय 1994 ,, (गुजराती अनुवाद) च. ना. शिनारवाला 1994 प्राप्तिस्थान : सरस्वती पुस्तक भंडारं, हाथीखाना, रतनपोल, अमदावाद-३८०००१ For Private & Personal Use Only Jain Education International www.jainelibrary.org

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