Book Title: Aagam Sambandhi Saahitya 02 Pratyek Buddhbhashitani Rushibhashitsutrani Moolam
Author(s): Anandsagarsuri, Dipratnasagar, Deepratnasagar
Publisher: Param Anand Shwe Mu Pu Jain Sangh Paldi Ahmedabad
View full book text
________________
ईस प्रोजेक्ट के संपूर्ण-अनुदान-दाता
सच्चारित्र चूडामणि स्वर्गस्थ पूज्यपाद गच्छाधिपति आचार्यदेव श्री देवेन्द्रसागर सूरीश्वरजी महाराज साहेब
श्री परम आनंद श्वेताम्बर मूर्तिपूजक जैन संघ वीतराग सोसायटी, प्रभूदास ठक्कर कोलेज रोड, पालडी, अमदावाद
करीब पचास साल पहेले परम पूज्य स्वर्गस्थ गच्छाधिपति आचार्य देव श्रीमद् देवेन्द्रसागरसूरीश्वरजी महाराज साहेब द्वारा संस्थापित इस संघ में श्री शीतलनाथ भगवंत का जिनालय भी है, जिन के प्रतिष्ठाचार्य भी पूज्य देवेन्द्रसागरसूरीश्वरजी म० ही है ।
1
इस संघ पूज्य साधू -भगवंत एवं साध्वी महाराज के लिए उपाश्रय भी है। जहां हर साल चातुर्मास करवा के श्रावकश्राविकाओ को धर्म-आराधन से लाभान्वित करवाया जाता है । इस संघमें आयंबिलभवन, उबाला हुआ पानी, ज्ञान-भण्डार एवं पाठशाला की भी बहोत अच्छी सुविधा प्रदान हो रही है । ऐसे सम्यग्-मार्गी संघ की सद्भावना और प्रभावक आचार्य पूज्य श्री हर्षसागरसूरिजी म० की प्रेरणा से इस शास्त्र के लिए अनुदान प्राप्त हुआ है ।