________________ 31 // वित्तीए // 12 // जयसेणसूरिगुरूणो कित्तिमइमहयरीसमीवंमि / पयपउमवन्दणत्थं पत्ता साहइ नियं चरियं // 13 // यशोभद्रया पञ्चागयसंवेगा धम्म सोऊण सुद्धसद्धाए / पवजं पडिवजइ अकहियपच्छन्नगम्भा सा // 14 // परिवड्डन्ते गम्मे पुच्छइ | गृहीता महयरी किमयंति ? / भणइ य भया न गम्भो पुत्विं कहिओ अदिक्खाए // 15 // कालक्कमेण जाओ पुत्तो सावयघरंमि दीक्षा, तवड्डन्तो / समए पडिवन्नवओ जाओ खुड्डगकुमारोत्ति // 16 // उवोढुं सीलभरं अचयंतो तयणु मेरूगिरिगरूयं / ओहाव पुत्रक्षुल्लकणाणुपेही सो जाओ जोवणारंभे // 17 // उनिक्खमिउं पुच्छइ जणणिं सा भणइ वच्छ ! तावऽच्छ / मझवयणेण बारस गृहीतदीक्षवरिसाई जाब पुजन्ति // 18 // पुग्नेसु तेसु अरई पत्तो पुच्छइ पुणोवि सूरीणं / वयणेणं वरिसाइं तत्तियमित्ताई चिद्वेइ स्य च चा॥ 19 // तेसुवि पजचेसुं अरओ चारित्तमोहदोसेण / उज्झायवयणओवि य अच्छइ पुण तित्तियं कालं // 20 // वयगह रित्रे रतिणाओ अडयालीसवरिसेहिं संजमे न रई / संजाया तेणेमं पावट्ठाणं अरइनामं // 21 // पुच्छन्तो मायाए उवेहिओ अप्पि र्जाता। ऊण नामकं / मुद्दारयणं कंबलरयणं भणिओ य तो एसो // 22 // साकेए अत्थि निको पुण्डरिओ तुह महल्लओ जणओ। पच्चयहेउं दंससु मुद्दारयणं इमं वच्छ ! // 23 // कालक्कमेण पत्तो तम्मि य समयम्मि पेक्खणारम्भो। सो सयलंपि रय]ि पेच्छइ तं पेक्खणं रसिओ // 24 // अइरंगे वट्टन्ते पभायसमयंमि नट्टिया सन्ता। निदाघुमियनेता महयरियाए तओ वोचा // 25 // सुट्ट वाइयं सुट्ठ गाइयं सुट्ट नच्चियं सामसुन्दरि / / अणुपालिय दीहराईए मा सुमिणन्ते पमायह // 26 // महुरक्खरवाणीए जणणीए गीइयाए गीयाए / कम्बलरयणं वियरइ संविग्गो खुड्डकुमारो॥ 27 // रायसुएणं दिनं कुण्डलरयणं फुरन्तकन्तिल्लं / जच्छइ हारं तारं सिरिकन्ता सत्थवाहीवि // 28 // जयसंधिअमचेण दिन्नो मणिरयणमण्डिओ 15 // 231 // PARA***********