________________ जयन्तीप्रकरणवृतिः / // 10 // 134545456. अकहिजंते तत्ते वाययइ कुमरो सयं तत्तो // 53 // तंबसलायं तत्तं घेचूर्ण जेह दोवि नयणाई / सो एस मह कुमारो साहसिओ पुत्रजन्मविणयसारोत्ति / / 54 // इच्चाइ सुमरीऊणं पञ्चभिजाणित्तु तं नियं पुत्तं / सोऽसोगसिरिराया जवणिं अवणावए तुरियं // 55 // श्रुत्वाऽशोछम्मासियमुत्ताहलसवंभचारीहिं हरिसअंसहिं / सुयदिच्छियरजसिरीहारं व रएइ तो राया / / 56 // भणइ य पुत्तय ! तुमए कनृपेण तपवत्तिया अमियसारिणी जमिह / गीयकला तं लोए सच्चं चिय रायतणओऽसि // 57 // उचिया तुह रायसिरी चंदस- तत्पुत्रसम्प्रते गुत्तस्स मज्श पुत्तस्स / किंतु न तारामेलो तीए सह नेहहेऊ ते // 58 // ता वच्छ ! तुज्झ संपइ किमवच्चं ? किं पिएयति ? दत्ते राज्ये तेणुत्ते / संपइ कुमारो जाओ संपइ अथित्ति पडिवयणो॥ 59 // तो तुडेणं रन्ना संपइकुमरस्स रोरजीवस्स / पुवसुकयाणुभावा कृतः श्रावउज्जयणी पुरवरी दिन्ना // 60 // देहकलोवचएणं राया पडिपुन्नमंडलो सतेओ / पुत्वभवजियपुनखीरोयसमुद्दओ जाओ // 61 // गणेन र. वडूतनेहदसो पडिकूलसमीरणे अविज्झाओ / जस्स पयावपईवो अउहरूवो जलइ निचं // 62 // जस्स कमलाकरस्स व कोसो थयात्रामवसुपूरपूरिओ संतो। वियसइ पइप्पभायं दलाणि सवाणि पयडंतो॥६॥ पडिवक्खक्खोहदक्खा निच्चं बहुमाणबलिपरिग्गहिया। होत्सवः। दुग्गा ईसरवल्लहसंवासा जस्स रजंमि // 64 // रजंमि जस्स मंडलविसेसपनाइकुसलबुद्धीणं / मंतीणं ताण मंतेहिं खुद्दो. वद्दवसमो होइ / / 65 // मित्तकलापणएण संपइराया कमेण वटुंतो। संपुन्नमंडलत्ते वियरइ सो कुवलयाणदं // 66 // अह | उजेणिपुरीए सिवपुरपहगामिसावयजणेणं / पारद्धा रहजत्ता पवयणगुणचक्कसंजुत्ता // 67 // दिजंति चच्चरीओ संसारसमुद्दतारणतरीओ। धम्मदुममंजरीओ सवणिदियकमलभमरीओ // 68 // बजंति दुंदुहिओ धाराधरधीरनिस्सणसहीओ। नचंति य तरुणीओ जणाण मणनयणहरणीओ॥ 69 // कीरंति हट्टसोहा आणंदिअंति धम्मियजणोहा / पुरिजंति चउक्का // 10 // RECCALCCACAAS