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________________ दास्या आ. गतनृपाणां वर्णनं कृतम् | दुरमुल्लाल्य वक्षः स्वं दक्षः कश्चिददर्शयत् // 86 // चूडामणेः श्लथस्यैकः स्थाने न्यासाय बद्धधी। मौलौ बबंध लीलाऽब्जं हस्य॥२२७॥ IS मानोऽपि नागरैः // 87 // रम्या किमेपा सुदती पद्मवासाऽथवेत्यदः / निश्चेतुमिव कोऽप्यन्ज हस्ते धृत्वान्तरेक्षत // 88 // कश्चित्पदानि संग्रन्थ्य कतिचिनिजपर्षदि / शीघ्रां कवित्ववैदग्धां शशंस गलगर्जिकृत् / / 89 // अधोमुखं करे विभ्रत्तांबूलीदलबीटकम् / कश्चित्क्रीडाशुकभ्रान्त्याऽपाठयद्धीमजास्तुतिम् // 90 // वर्णयन् कोऽपि वैदर्भी रीति कविजनाग्रतः / गुणवमुचितं कांतं वैदर्भी स्वमजिज्ञपत // |91 // कंठान्मल्लीनजं कश्चिदुत्तार्यारोपयत्पुनः / क्षेप्या मय्येव मालेति प्रशास्तुमिव भीमजाम् // 92 // ग्रंथित्वा केतकीपत्रैः कमले कोऽपि पुत्रिकाम् / दर्शयंस्तां हृदाब्जे मे त्वमेवासीत्यशादिव / / 93 / / तांबूलमदनेनेवादितः स्वां क्षुरिकां परः / जिघन्नाख्यद्धवं भैमि ! त्वदृतेऽसौ गले मम // 94 // कश्चिदुधुलयामास स्वांगं कर्पूरधूलिभिः। वैदर्भशसुतात्याशापिशाचीग्रहिलीकृतः॥९५।। अथ तस्याः। प्रतीहारी हारीतोहामवागिव / व्याख्यानरेश्वरानामग्राहं राजाज्ञया पटुः // 96 // कः कः सूत इवोत्फालः मापालः कानने नहि / अलं शौर्यानलं यस्याऽसहिष्णुर्धावति द्रुतम् // 17 // जितशत्रोः सुतः सैष शिशुमारपुराधिपः / दधिपर्णनृपस्तेऽस्तु वस्तुवेदिनि! वल्लभः // 98 // युग्मम् // येनादिगंतं स्वां कीर्ति प्रियां गमयितुं सुखम् / वार्द्धयः स्थलतां नीताः सैन्योधूतै रजोभरैः // 99 // तं चंद्रसूनुं श्रीचंद्रराजमिक्ष्वाकुवंशजम् / आदृत्य भूपं ज्योत्स्नेव कौमुदं तनु सर्वतः // 400 // युग्मम् // रोहीतकेश्वरश्चंद्रशेखरः पावनिनृपः। द्वात्रिंशद्वामलक्षेशः प्रियो भवतु देवि! ते // 1 // सुबाहु गवंश्योऽयं चंपेशो धरणेंद्रभूः। वियतां देवि वांछा ते चेद् | | गंगाजलकेलिषु // 2 // निषिद्धजडयोगेन ज्वलतापि कुतूहलम् / प्रतापवहिना यस्योल्लासं यांति प्रजालताः // 3 // शशलक्ष्माभिधं भृपमनुरुपममुं गुणैः / पति पतिवरे योग्यं वृणु संवृणु संशयम् // 4 // युग्मम् / / जहनुमनुर्यज्ञदेवस्तपनान्वयभूषणम् / भृगुकच्छेश्वर // 227||
SR No.600399
Book TitleBhavi Jineshwar Amamswami Charitra Mahakavya Part 01
Original Sutra AuthorN/A
AuthorMuniratnasuri, Vijaykumudsuri
PublisherManivijay Ganivar Granthmala
Publication Year1942
Total Pages306
LanguageSanskrit
ClassificationManuscript
File Size28 MB
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