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पविसित्ता पहाए कयबलिकम्मे कयकोउयमंगल पायच्छित्ते सघालंकारविभूसिएसन्नहबद्धवम्मियकवए खप्पी. लियसरासणपट्टिए पिणद्धगेवेजे विमलवरबहचिंधपट्टे गहियाउहप्पहरणे सकोरिंटमल्लदामेणं छत्तेणं धरिजमाणेणं चउचामरवालवीतियंगे मंगलजयसद्दकयालोए एवं जहा उववाइए जाव उवागच्छित्ता उदाई हत्थिरायं दुरूढे, तए णं से कूणिए राया हारोत्थयमुकयरइयवच्छे जहा उववाइए जाव सेयवरचामराहिं | उडुबमाणीहिं उडुब्वमाणीहिं हयगयरहपवरजोहकलियाए चाउरंगिणीए सेणाए सद्धिं संपरिवुडे महया भड|चडगरविंदपरिक्खित्ते जेणेव महासिलाए कंटए संगामे तेणेव उवागच्छह तेणेव उवागच्छित्ता महासिलाकंटयं संगामं ओयाए, पुरओ य से सके देविंदे देवराया एगं महं अभेजकवयं वइरपडिरूवगं विउवित्ताणं चिट्ठति, एवं खलु दो इंदा संगामं संगामेंति, तंजहा-देविंदे य मणुइंदे य, एगहत्थिणावि णं पभू कूणिए राया पराजि| णित्तए, तए णं से कूणिए राया महासिलाकंटक संगाम संगामेमाणे नव मल्लइ नव लेच्छइ कासीकोसलगा अट्ठारसवि गणरायाणो हयमहियपवरवीरघाइयवियडियचिंधद्धयपडागे किच्छपाणगए दिसो दिसिं पडिसेहित्था ॥ से केण?णं भंते ! एवं वुच्चइ महासिलाकंटए संगामे ?, गोयमा ! महासिलाकंटए णं संगामे वट्टमाणे जे तत्थ आसे वा हत्थी वा जोहे वा सारही वा तणेण वा पत्तेण वा कटेण वा सकराए वा अभिहम्मति सच्चे से जाणइ महासिलाए अहं अभिहए म०२, से तेणटेणं गोयमा ! महासिलाकंटए संगामे । महासिलाकंटए णं भंते! संगामे वट्टमाणे कति जणसयसाहस्सीओ वहियाओ?, गोयमा ! चउरासीई जण
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