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दिगंबर जैन ।
(४) खादी, मिठाई व यशोधर चरित्र तथा चेतनकर्म- ब विवाह समारम्म ज्येष्ठ वदी १ रात्रिको चरित्र पुस्तकें भेंटमें दी गई थीं तथा कन्याके ८ बजे हुआ था तब सब विवाह विधि पं. पिता शा• गुलाबचन्द लाल चन्द पटकाको ओरसे छोटेलाल परवार (सुप्रि० प्रे० मो. दि. मैप सविताव्हेन लग्न गीतावकी' नामक सचित्र बोर्डिंग अहमदाबाद ) व पं. दामोदरदासनी पुस्तक समी ३०० बालिका व स्त्रियोंको भेटमें बुढ़वार (ललितपुर) ने कराई थी तथा इस मौके पर बांटी गई थीं व इस मौके की खुशाली में इस पृज्य ब्र. शीतलप्रप्तादनी व पं० दीपचन्दनी समय इस प्रकार बृहत विद्यादान हुआ था- वर्णीने 'गृहFधधर्म' पर प्रासंगिक व्याख्यान दिये २७७) मूलचंद किसनदास कापड़िया थे व उसी वख्त मूलचन्दनीकी ओरसे अपनी १००) किसनदास पूनेमचन्द ,
जैन संस्थाओंको भी इस प्रकार दान करना .९१) एक पूज्य सद्ग्रहस्प
. प्रकट किया गया था। ६५) गुलाबचन्द लाल चन्द पटवा . ५०) श्रीमती मगन् बहिन
२५) विकाश्रम बमई १०.) काशीवहिन चुनीलाल हेमचन्द जरीवाला १५) स्या० महाविद्यालय काशी १००) परसनबाई नवलचन्द हीराचन्द झोहरी १५) गोपाल विद्यालय मुरैना १५) श्री. डावबाई चुनीलाल झवेश्चन्द . १५) महाविद्यालय व्यावर ३०) , चम्पार'ई प्रेमचंद मोतीचंद जौहरी १५) रु० ब्र० आश्रम जयपुर २५) हरगोविंददास मंछाराम
१५) जैन पाठशाला सांगर २५) नवलबहिन चुनीलाल हेमचन्द
१०) अनाधाय बडनगर २५) छगनलाल उत्तमचन्द सरैया
१०) औषधालय , ७५) बलुपाई लक्ष्मीचन्द चौकसी
१५) अनाथाव्य देहली ९८८) कुल
१५) 5. आश्रम कुंथलगिरी इन रुपयों मेंसे १९७) दि. मैन पाठशाला १५) पार्श्वनाथ विद्यालय उदेपुर २१.) फुलकोर कन्याशाला, ६५) दि जैन
१५) जैन बालाविश्राप दास श्राविका पाठशाला, २७६) राष्ट्रीय के लवणी
१५) , महिला श्रम देहली मंडल सुरत व १०) राष्ट्रीय कस्तुरबा कन्याशाला
१५) , पाठशाला पपौरा को दिये गए हैं। यह नरमा तीन घंटेके बाद १२वजे हार तुर्ग
१५) जैममित्र कार्याय पान गुलाब लेकर विसर्जित हुआ था। स्त्रीपुरु
२२५) कुल षकी जनसंख्या ३००-४०० से कम न थी सेठ ताराबन्दनीकी पुत्री बहुत बिमार भी इस 4 नक्सा चंदावाडी में लग्नमंडपमें ही किया लिये विवाहका सब कार्य रात्रिको १२ बजेतक गया था।
निपटा दिया गया था।